राजस्थान के अजमेर जिले से लगभग 16 किलोमीटर दूर स्थित पवित्र नगरी पुष्कर में 22 अक्टूबर 2025 से विश्व प्रसिद्ध अंतरराष्ट्रीय पुष्कर पशु मेला शुरू होने जा रहा है. यह मेला 7 नवंबर तक चलेगा और हर साल की तरह इस बार भी देश-विदेश से लाखों की संख्या में पर्यटक और पशुपालक इसमें हिस्सा लेंगे. आइए जानते हैं इस बार के मेले में क्या कुछ खास होने वाला है.
इस बार पशुपालकों की सुविधा के लिए राजस्थान सरकार ने पहली बार ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन पोर्टल शुरू किया है. अब देश के किसी भी कोने से पशुपालक अपने पशुओं के लिए स्लॉट बुक कर सकते हैं. रजिस्ट्रेशन के लिए सरकार का पोर्टल है: pushkarmela.rajasthan.gov.in
रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया दो चरणों में पूरी होती है:
इस वर्ष कुल 520 स्लॉट उपलब्ध कराए गए हैं. अब तक 187 आवेदन मिले हैं, जिनमें से 160 पशुपालकों को मंजूरी मिल चुकी है. बाकी आवेदन प्रक्रिया में हैं. यह पहल पशुपालन विभाग के लिए एक नई शुरुआत है, जिससे रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया अब और पारदर्शी और सुविधाजनक हो गई है.
राजस्थान के अलावा इस बार पंजाब, हरियाणा और गुजरात जैसे राज्यों से भी पशुपालकों ने मेले में भाग लेने के लिए आवेदन किया है. इससे यह मेला केवल राजस्थान तक सीमित नहीं रह गया है, बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर पहचान बना रहा है.
हर साल की तरह इस बार भी मेले में ऊंटों और घोड़ों की सजावट और करतब प्रतियोगिताएं सबसे बड़ा आकर्षण होंगी. ऊंट को “रेगिस्तान का जहाज” कहा जाता है और पुष्कर मेला इसकी भव्यता का प्रतीक है. इस बार सरकार ने ऊंटों को राज्य से बाहर ले जाने की अनुमति दी है, जिससे ऊंटों की बिक्री और व्यापार बढ़ने की संभावना है.
मेले में 30 अक्टूबर से 5 नवंबर तक हर दिन लोक नृत्य, लोक गायन और पारंपरिक खेलों का आयोजन होगा. इनमें मूंछ प्रतियोगिता, साफा बांधना, रंगोली, कबड्डी, खो-खो और फुटबॉल जैसी गतिविधियां शामिल हैं.
इसके अलावा, “बेस्ट ऑफ राजस्थान” और “बेस्ट ऑफ पुष्कर” जैसे सांस्कृतिक कार्यक्रम भी होंगे. इस बार कवि सम्मेलन और बॉलीवुड नाइट का आयोजन भी किया जाएगा, जिसमें मशहूर कलाकार प्रस्तुति देंगे.
प्रशासन ने मेले के दौरान सुरक्षा और व्यवस्थाओं को लेकर पूरी तैयारी की है. मेला क्षेत्र में पुलिस बल और प्रशासनिक टीमें तैनात रहेंगी. पशुपालकों और पर्यटकों के लिए आवास, पानी, बिजली, और स्वच्छता की पूरी व्यवस्था की गई है.
मेले की प्रमुख तिथियां
पशुपालन विभाग ने अन्य राज्यों के पशुपालकों को भी आमंत्रित किया है कि वे अपने परिवार और पशुओं के साथ इस ऐतिहासिक मेले में आएं और राजस्थान की सांस्कृतिक धरोहर और गौरव का हिस्सा बनें.
पुष्कर पशु मेला 2025 सिर्फ एक पशु मेला नहीं, बल्कि यह राजस्थान की परंपरा, संस्कृति और व्यापार का एक अद्भुत संगम है. अगर आप भी इस अनुभव का हिस्सा बनना चाहते हैं, तो जल्द से जल्द अपना ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कराएं और इस भव्य आयोजन में सम्मिलित होकर यादगार लम्हे बनाएं.
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