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Goat Farming: बकरियों के बाड़े का रखरखाव कैसे करें, इन 10 पॉइंट में जानें पूरी बात

Goat Farming: बकरियों के बाड़े का रखरखाव कैसे करें, इन 10 पॉइंट में जानें पूरी बात

बकरी एक छोटा जानवर है, जिसे बहुत आसानी से पाला जा सकता है. इसे सीमांत और भूमिहीन किसानों द्वारा दूध और मांस के लिए पाला जाता है. इसके अलावा बकरी की खाल, बाल और रेशे का भी व्यावसायिक महत्व है. क्यारियों में एकत्रित गोबर एवं मूत्र का उपयोग उर्वरक के रूप में भी किया जाता है. आज के समय में बकरी पालन एक सफल रोजगार के रूप में उभर रहा है.

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बकरियों के बाड़े का कैसे रखें ख्याल बकरियों के बाड़े का कैसे रखें ख्याल

कृषि के साथ-साथ गाय, भैंस, बैल, बकरी, भेड़, मछली, मुर्गी, मधुमक्खी आदि पशुपालन भी किया जा सकता है. बकरी पालन (Goat Farming) एक ऐसा व्यवसाय है जिसे बहुत कम पूंजी और कम जगह में भी आसानी से किया जा सकता है. बकरी एक छोटा जानवर है, जिसे बहुत आसानी से पाला जा सकता है. इसे सीमांत और भूमिहीन किसानों द्वारा दूध और मांस के लिए पाला जाता है. इसके अलावा बकरी की खाल, बाल और रेशे का भी व्यावसायिक महत्व है. क्यारियों में एकत्रित गोबर एवं मूत्र का उपयोग उर्वरक के रूप में भी किया जाता है. आज के समय में बकरी पालन (Goat Farming) एक सफल रोजगार के रूप में उभर रहा है. जो ना सिर्फ फायदे का सौदा है बल्कि रोजगार के अवसर भी पैदा करता है. 

ग्रामीण क्षेत्रों बकरी पालन का उद्देश्य 

बकरियों को दूध और मांस के लिए पाला जाता है. बकरी एक बहू उपयोगी पशु है और देश में भूमिहीन, छोटे और सीमांत किसानों की अर्थव्यवस्था और पोषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. बकरी पालन ग्रामीण क्षेत्रों में आबादी के एक बड़े वर्ग द्वारा किया जाने वाला एक उद्यम है. ऐसे में बकरियों का स्वस्थ रहना बहुत जरूरी है. इसके लिए यह भी जरूरी है कि किसान बकरी बाड़ों का रखरखाव ठीक से करें. ऐसे में आइए जानते हैं कि बकरियों को पालने का सही तरीका क्या है.

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बकरी पालन से होने वाले लाभ

  • बकरी को गरीब की गाय कहा जाता है .
  • बकरियों को कहीं पर भी छोटी सी जगह पर रख सकते है.
  • खाने व खिलाने का खर्च कम से कम आता है.
  • दूध पौष्टिक एवं आसानी से पचने वाला होता है.
  • गरीब की गाय
  • बकरी का मांस प्रोटीन से भरपूर होता है.
  • सूखे की स्थिति में भी जीवन यापन कर सकते है.
  • बकरी के बच्चों को बड़ा करके आसानी से कभी भी बेंचा जा सकता है बकरे और बकरी का मांस  800 से लेकर 1000 रुपये प्रति किलो की दर से बिकता हैं.
  • मृत बकरी का चमड़ा भी बेचकर पैसा कमाया जा सकता है.

कैसे करें बकरियों के बाड़े का रखरखाव

  1. बकरियों का बाड़ा और उनका घर आरामदायक होना चाहिए, जो उन्हें धूप, बारिश, ठंड, जंगली जानवरों और बीमारियों से बचाए.
  2. उनके रहने के लिए पर्याप्त जगह होनी चाहिए. एक युवा बकरी के लिए 10 वर्ग फुट जगह होनी चाहिए.
  3. बाड़े का फर्श एक बराबर और साफ होना चाहिए.
  4. छत घास, फूस, पैरा, एस्बेस्टस या खपरैल से बनाई जा सकती है.
  5. साफ और ठंडी हवा का संचार होना चाहिए, जिससे मूत्र और गोबर की गंध न आए. इससे सांस संबंधी रोग नहीं होते हैं.
  6. घर पूर्व या पश्चिम दिशा में होना चाहिए, ताकि सूरज की रोशनी घर पर पड़े और घर के अंदर पनपने वाले कीटाणुओं को नष्ट कर सके.
  7. नर और मादा (गर्भवती एवं दूध पिलाने वाली) मेमनों और बीमार बकरियों को अलग-अलग रखने के लिए छोटे-छोटे बाड़े तैयार करने चाहिए.
  8. बाड़े को नियमित अंतराल पर फिनाइल से साफ करना और धोना चाहिए.
  9. सर्दियों में बिछावन के लिए सूखी घास व बोरे के पर्दे लगाकर बचाव करना चाहिए.
  10. बकरियों के बाड़े में साफ पानी की सुविधा का होना भी बहुत जरूर है.