टीकमगढ़ का अदरक बन रहा ब्रांड! एक जिले- एक उत्पाद के तौर पर हुआ च‍िन्ह‍ित

टीकमगढ़ का अदरक बन रहा ब्रांड! एक जिले- एक उत्पाद के तौर पर हुआ च‍िन्ह‍ित

मध्य प्रदेश के टीकमगढ़ जिले के अदरक एक ब्रांड के तौर पर स्थाप‍ित हो रहा है. अदरक को एक जि‍ले-एक उत्पाद के तौर पर च‍िन्ह‍ित क‍िया गया है. आइए जानते हैं क‍ि क्या है इसमें खास....

एक जिला एक उत्पाद के तहत मिली टीकमगढ़ के अदरक को पहचान, अदरक के जड़ की प्रतीकात्मक तस्वीर, Photo: Freepikएक जिला एक उत्पाद के तहत मिली टीकमगढ़ के अदरक को पहचान, अदरक के जड़ की प्रतीकात्मक तस्वीर, Photo: Freepik
नयन त‍िवारी
  • Noida,
  • Jan 08, 2023,
  • Updated Jan 08, 2023, 4:55 PM IST

अदरक से सभी परिचित हैं. इसका जिक्र आते ही सबसे पहले चाय की याद आती है क्योंकि अधिकतर लोग अदरक वाली चाय पीना पसंद करते हैं. चाय के अलावा अदरक को मसालों के रूप में भी जाना जाता है. अदरक का उपयोग दाल- सब्जी में लगने वाले तड़के से लेकर  वेज- नॉनवेज व्यंजनों की ग्रेवी बनाने में अदरक का विशेष महत्व है. अदरक का उपयोग पूरे किए साल किया जाता है. इसलिए इसकी बाजार मांग वर्ष भर बनी रहती है. इसे सदाबहार सब्जियों और मसालों की श्रेणी में रखा जाता है. मध्य प्रदेश में भी बड़ी मात्रा में अदरक का उत्पादन होता है. मौजूदा समय में मध्य प्रदेश के टीकमगढ़ ज‍िले का अदरक व‍िशेष ब्रांड के तौर पर स्थाप‍ित हो रहा है, ज‍िसे एक जिला एक उत्पाद मुहिम के तहत चि‍न्ह‍ित क‍िया गया है. 

टीकमगढ़ की जलवायु अदरक के ल‍िए उपयुक्त  

 

अदरक की खेती खास तौर पर बलुई दोमट मिट्टी और सामान्य तापमान में अच्छी मानी जाती है.वैसे तो देश के कई हिस्सों में अदरक की खेती की जाती है उसी तरह से टीकमगढ़ का इलाका इसके लिए उपयुक्त  है.यहां की जलवायु अदरक की खेती के लिए अनुकूल मानी गई है. 

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जिसके कारण यहां बड़े पैमाने पर अदरक की खेती की जाती है. टीकमगढ़ के अदरक को एक जिला एक उत्पाद योजना के तहत शामिल किया गया है जिसके कारण इसे विशेष पहचान मिली है.आइए इस योजना के बारे में विस्तार से जानते हैं. 

एक जिला-एक उत्पाद योजना 

एक जिला-एक उत्पाद की योजना के तहत स्थानीय उत्पादों को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर विशेष पहचान द‍िलाया जाने का प्रयास क‍िया जाता है. इस योजना के माध्यम के बेरोजगारों को रोजगार देने की भी योजना बनाई है. किसी भी जिले के ऐसे गुणकारी उत्पाद जो केवल स्थानीय क्षेत्रों तक ही सीमित रह गए हैं. उन्हें विशेष पहचान मिलने से उस स्थान की वह वस्तु अस्तित्व में आएगी और उसकी कीमतों में भी बढ़ोतरी होगी. फलों और सब्जियों का उत्पादन करने वाले किसानों को इस योजना से बड़े लाभ मिलने की उम्मीद जताई गई है.

इय योजना के तहत टीकमगढ़ के अदरक की ख्याति देश भर में फैलेगी, खेती का रकबा बढ़ेगा और वहां पर अदरक की खेती करने वाले किसानों की आय में भी बढ़ोतरी होगी. 

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