Uttar Pradesh News: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा है कि विभिन्न कृषि विश्वविद्यालयों से सम्बद्ध कृषि विज्ञान केंद्रों में कार्यरत साइंटिस्ट विश्वविद्यालय के सहायक प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर व प्रोफेसर को मिल रही सुविधाओं के हकदार हैं. इसलिए कृषि विज्ञान केंद्र के साइंटिस्ट भी 62 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होंगे. कोर्ट ने इन्हें 60 साल में सेवानिवृत्त करने के आदेश को रद्द कर दिया है और कहा है कि बकाया वेतन सहित 62 वर्ष की आयु तक कार्य करने के हकदार हैं. यह आदेश न्यायमूर्ति अजित कुमार ने डाॅ.अनिल कुमार कटियार व अन्य सहित पांच याचिकाओं को स्वीकार करते हुए दिया है. जिनके द्वारा 60 साल में सेवानिवृत्त करने के आदेश की वैधता को चुनौती दी गई थी.
याची की नियुक्ति सहायक प्रोफेसर मृदा साइंस कृषि विज्ञान केंद्र बदायूं में 14 जनवरी 1995 में हुई थी, जो वर्तमान में प्रोफेसर पद प्रोन्नत हो चुके हैं. कृषि विज्ञान केंद्रों का संचालन इंडियन काउंसिल ऑफ एग्रीकल्चर (आईसीएआर ) की ओर से जारी फंड से होता है और ये कृषि विश्वविद्यालय से संबद्ध है. कानून द्वारा गठित कृषि विश्वविद्यालयों की परिनियमावली है.
कोर्ट ने कहा विश्वविद्यालय के रिसर्च व केंद्रों के रिसर्च कार्य में कोई फर्क नहीं है. आईसीएआर व विश्वविद्यालय के बीच एमओयू है. जिसमें सरकार पक्ष नहीं है. इसलिए एमओयू का पालन न करने पर सरकार को विश्वविद्यालय के खिलाफ कार्रवाई करने का अधिकार नहीं है. हाईकोर्ट के फैसले भी है, जिनमें कहा गया है कि टीचिंग स्टाफ व साइंटिस्ट 62 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होंगे. ऐसे में याचियों को 60 साल में सेवानिवृत्त करने का कोई औचित्य नहीं है.
बता दें कि उत्तर प्रदेश सरकार इस बजट में कृषि क्षेत्र के लिए कई अहम घोषणाएं की गई हैं. बजट पेश करते हुए प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि किसानों की आय में वृद्धि के लिए कृषि शिक्षा, शोध और अनुसंधान के साथ-साथ प्रसार कार्यक्रमों की दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई जा रही है. सरकार के मुताबिक, उत्तर प्रदेश के 4 कृषि विश्वविद्यालयों में एग्रीटेक स्टार्टअप योजना के लिए 20 करोड़ रुपये की व्यवस्था है. बजट के मुताबिक, महात्मा बुद्ध कृषि एवं प्रोद्योगिक विश्वविद्यालय, कुशीनगर की स्थापना के लिए 50 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है. कृषि विश्वविद्यालय कानपुर, अयोध्या, बांदा और मेरठ में इंफ्रास्ट्रक्चर से जुड़े कार्यों के लिए लगभग 35 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है.
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बजट में सरकार ने कहा, आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय, अयोध्या के अंतर्गत कृषि महाविद्यालय (कैंपस) आजमगढ़ में पठन- पाठन का काम शुरू हो चुका है और जनपद गोंडा में कृषि महाविद्यालय (कैंपस) की स्थापना का निर्माण कार्य प्रगति पर है.