जुलाई-सितंबर तिमाही में सोना की मांग में जबरदस्त उछाल आया है. सोना खरीदने वालों की संख्या सबसे ज्यादा ग्रामीण भारत से दर्ज की गई है. ताजा आंकड़े यह संकेत देते हैं कि ग्रामीण और किसानों का निवेश को लेकर सोना पर विश्वास बरकरार है. वैसे भी सोना बेस्ट रिटर्न देने वाले निवेश के तौर पर देखा जाता है. वर्ल्ड ग्लोबल काउंसिल की रिपोर्ट में कहा गया है कि त्योहारों और शादी की खरीदारी के बीच अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में सोना की मांग में और तेजी देखने को मिल सकती है.
ग्लोबल लेवल पर वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के WGC Q3 गोल्ड डिमांड ट्रेंड्स रिपोर्ट से पता चलता है कि जुलाई और अगस्त में कमजोर मानसून और अल नीनो के डर के बावजूद कम कीमतों के कारण सितंबर तिमाही में भारत में सोने की मांग सालाना आधार पर 10% बढ़कर 210 टन हो गई है. इस मांग का अधिकांश हिस्सा ग्रामीण भारत से आया है, जो भारत की वार्षिक खपत का 60% है. रिपोर्ट में कहा गया है कि केंद्रीय बैंक की खरीदारी ऐतिहासिक गति बनाए रखे है, जिसके चलते तिमाही में सोने की मांग 1,147 टन हो गई है, जो इसके पांच साल के औसत से 8% अधिक है.
भारत में सोने के आभूषणों की बिक्री सालाना आधार पर 7% बढ़कर 155.7 टन हो गई, जो सोने की नरम कीमतों और त्योहारी मांग के कारण रही है. रिटेल मांग बढ़ने से जुलाई में 60,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक चढ़ने के बाद अगस्त और सितंबर में सोने की कीमतें गिरकर 57,000 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गईं.
वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल में भारत के क्षेत्रीय सीईओ सोमसुंदरम पीआर ने कहा कि गोल्ड बार और सिक्के में निवेश मांग पिछले वर्ष की तीसरी तिमाही में 45.4 टन से 20% बढ़कर 54.5 टन हो गई है. सोना के मूल्य सुधार के चलते मांग में बढ़ोत्तरी दर्ज की गई. त्योहारों और शादी की खरीदारी के बीच अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में सोना की मांग में तेजी देखने को मिल सकती है. व्यापारियों ने कहा कि उपभोक्ताओं ने 60,000 रुपये प्रति 10 ग्राम मूल्य बिंदु को स्वीकार कर लिया है, इसलिए उछाल आ सकता है.
ये भी पढ़ें - Changes from November 1: एलपीजी महंगी और जेट फ्यूल सस्ता हुआ, 1 नवंबर से ये 7 बदलाव लागू हो गए
सितंबर तिमाही में भारत में रिसाइकिल किया गया कुल सोना 19.2 टन था, जो एक साल पहले के 16 टन की तुलना में 20% अधिक है. तिमाही के दौरान देश में कुल सोने का आयात 220 टन रहा, जो सालाना आधार पर 19% की वृद्धि दर्शाता है. सोमसुंदरम पीआर ने कहा कि हमारा मानना है कि रिसाइक्लिंग बढ़ती रहेगी, क्योंकि आभूषणों के रिसाइकल को बढ़ाने के लिए ऑरगनाइज प्लेयर्स की पहल जोर पकड़ने लगी है.