Indian Railways: रेलवे के सुपर ऐप पर मिलेगी टिकट बुकिंग से लेकर प्लेटफॉर्म तक की जानकारी, जल्द लॉन्च करने की योजना 

Indian Railways: रेलवे के सुपर ऐप पर मिलेगी टिकट बुकिंग से लेकर प्लेटफॉर्म तक की जानकारी, जल्द लॉन्च करने की योजना 

रेलवे अपने एक दर्जन से ज्यादा मोबाइल एप्लीकेशन को एक ही एप्लीकेशन में समाहित करने जा रहा है और इसके लिए सुपर ऐप विकसित की जा रही है. इस रेल मंत्रालय के लिए काम करने वाली कंपनी क्रिस इस सुपर ऐप को बना रही है.

Railway super applicationRailway super application
रिजवान नूर खान
  • New Delhi,
  • Jan 02, 2024,
  • Updated Jan 02, 2024, 1:38 PM IST

भारतीय रेलवे एक सुपर ऐप विकसित कर रहा है जिससे टिकटिंग, ट्रेन ट्रैकिंग और अन्य सेवाओं की जानकारी और अपडेट मिल सकेगी. रेलवे वर्तमान में एक दर्जन से ज्यादा मोबाइल एप्लीकेशन के जरिए यह सेवाएं और सूचनाएं देता है. सभी अलग-अलग ऐप्लीकेशन को इस सुपर ऐप में लाया जाएगा. रेल मंत्रालय के आईटी सिस्टम्स के लिए जिम्मेदार शाखा क्रिस इस सुपर ऐप पर काम कर रही है. 

रेलवे विकसित कर रहा सुपर ऐप 

रेलवे पैसेंजर्स और यूजर्स की प्रतिक्रिया को ध्यान में रखते हुए भारतीय रेलवे एप्लीकेशन में व्यापक बदलाव की जरूरत है. इसके मद्देनजर रेलवे अब सुपर मोबाइल एप्लीकेशन लाने जा रहा है. रेलवे की आइटी सिस्टम्स देखने वाली कंपनी क्रिस इसे विकसित कर रही है. यह सुपर ऐप यात्रियों के लिए सभी मौजूदा सुविधाओं जैसे रेल मदद यानी शिकायतों और सुझावों के लिए, यूटीएस यानी अनारक्षित ट्रेन टिकटों की बुकिंग, नेशनल ट्रेन इन्क्वायरी यानी ट्रेन की स्थिति जानने की सुविधाएं को एक जगह कर देगा. 

आईआरसीटीसी रेल कनेक्ट भी समाहित होगी 

भारतीय रेलवे सुपर ऐप में कई अन्य सुविधाओं को भी जोड़ रहा है. इनमें संचालन पोर्टरीड यानी रेडियो टैग पढ़ना और लिखना की सुविधा, सतर्क यानी निरीक्षण रिपोर्ट करना, टीएमएस निरीक्षण यानी जियो लोकेशन आधारित ट्रैक संपत्तियों का निरीक्षण करना और आईआरसीटीसी रेल कनेक्ट यानी ट्रेन टिकट बुकिंग और कैंसिल, आईआरसीटीसी को भी सुपर एप में समाहित किया जाएगा. 

3 साल के लिए 90 करोड़ खर्च का अनुमान 

इकनॉमिक टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार रेलवे इसके अलावा सुपर एप्लीकेशन में ई-कैटरिंग फूड ऑन ट्रैक यानी ट्रेन की सीट पर खाना पहुंचाने के साथ ही आईआरसीटीसी एयर यानी फ्लाइट टिकट बुकिंग सुविधा को भी सुपर ऐप के तहत लाने की तैयारी है. पहले से चल रहे मोबाइल एप्लीकेशन को सुपर ऐप में लाने और इसे 3 साल तक चलाने पर भारतीय रेलवे को लगभग 90 करोड़ रुपये का खर्च आएगा.

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