सब्जी सेहत के लिए काफी फायदेमंद होती है. लोग हमेशा खुद को सेहतमंद रखने के लिए अलग-अलग प्रकार की सब्जियों को खाते हैं. इसलिए मार्केट में भी पूरे साल हरी सब्जियों की डिमांड बना रहता है. साथ ही कई सब्जियों की ऐसी किस्में हैं जो उनकी खासियत को बढ़ा देते हैं. ऐसे में आइए जानते हैं कि किस सब्जी की किस्म है पूसा संतुष्टि. आपको बता दें, सभी मौसम में बाजार में मिलने वाली सब्जी लौकी की किस्म पूसा संतुष्टि वैरायटी है. लौकी की इस किस्म की किसानों में खूब डिमांड रहती है. किसान इसकी खेती कर बेहतर उपज और कमाई करते हैं. ऐसे में आइए जानते हैं पूसा संतुष्टि वैरायटी की क्या खासियत है. साथ ही इसके 5 उन्नत नस्लों के बारे में भी जानिए.
पूसा संतुष्टी: इस किस्म की लौकी बेहद चिकनी होती है. पूसा संतुष्टि लौकी का आकार नाशपाती जैसा होता है. इसकी ऊपरी परत चिकनी और हल्के हरे रंग की होती है. इस किस्म के लौकी का वजन 900 ग्राम से 1 किलोग्राम के बीच ही होता है. वहीं, प्रति हेक्टेयर जमीन पर इसकी खेती और सही प्रबंधन कार्यों के जरिए 25 से 30 क्विंटल तक सब्जी का उत्पादन लिया जा सकता है.
पूसा नवीन: भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान की ओर से विकसित लौकी की उन्नत किस्म पूसा नवीन खेती करने के लिए बहुत अच्छी किस्म है. इसकी खेती जायद और खरीफ दोनों सीजन में आसानी से की जा सकती है. इसके फल 30-40 सेमी लंबे और सीधे होते हैं. वहीं अगर खेत से मंडी दूर है तो भी परिवहन के दौरान इस किस्म के फल जल्दी खराब नहीं होते हैं. इस किस्म की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि इसकी पहली तुड़ाई 55 दिन में शुरू हो जाती है.
अर्का नूतन: इस किस्म की लौकी का आकार बेलनाकार होता है. यह लौकी भी 50 से 60 दिन में तुड़ाई के लिए तैयार हो जाती है. यह प्रति हेक्टर 40 से 50 टन तक उत्पादन की प्राप्ति होती है. इस किस्म की खेती भारत के सभी राज्यों की जाती है और बहुत ज्यादा फेमस है. इस लौकी की लंबाई 40 से 50 सेमी तक होती है.
अर्का गंगा: इस किस्म की लौकी गोलकार और गहरे हरे रंग की होती है. इस किस्म की लौकी 55 से 65 दिन में तैयार हो जाती है और प्रति हेक्टर 58 टन तक का उत्पादन देती है. यह एक मजबूत हाइब्रिड किस्म है. इसके फलों की लंबाई 35 से 40 सेमी तक होती है.
सम्राट लौकी: जैसा कि नाम से ही साफ है उत्पादन और क्वालिटी के मामले में सम्राट लौकी का कोई जवाब नहीं है. यह एक मजबूत हाइब्रिड किस्म है. जिसका रंग सामान्य हरा होता है. इसके फलों की लंबाई 35 से 40 सेमी तक होती है. ये किस्म 60 से 70 दिनों के बीच तुड़ाई के लिए तैयार हो जाती है. वहीं, एक हेक्टर क्षेत्र में सम्राट लौकी 350 से 400 क्विंटल तक उत्पादन देती है.