छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने हाल ही में बताया कि केंद्र सरकार द्वारा किए गए GST सुधारों के कारण किसानों के कृषि उपकरणों की कीमतों में भारी गिरावट आई है. उन्होंने कहा कि इन सुधारों का फायदा सिर्फ किसानों को ही नहीं, बल्कि डेयरी सेक्टर और आम जनता को भी मिल रहा है. मुख्यमंत्री साय ने कहा, “हमारे देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2017 में GST लागू किया था. 15 अगस्त 2025 को उन्होंने इसके सुधार की घोषणा की और सिर्फ 20 दिनों में इस पर अमल भी कर दिया. 22 सितंबर, जो कि नवरात्रि का दिन था, उस दिन नए GST स्लैब लागू किए गए.”
नए बदलावों के तहत, पहले चार GST स्लैब्स को घटाकर दो कर दिया गया है- 18% और 5%. इससे डेयरी उत्पादों के दाम घटे हैं और किसानों के लिए ट्रैक्टर, थ्रेशर जैसे कृषि उपकरण भी सस्ते हो गए हैं.
सीएम साय ने आगे कहा कि, “ये सुधार सिर्फ किसानों के लिए नहीं, बल्कि देश के हर वर्ग के लोगों के लिए फायदेमंद हैं. जब हम बाजारों और ट्रैक्टर शोरूम में जाते हैं, तो लोग बताते हैं कि कीमतें कम हुई हैं और वे बहुत खुश हैं.”
वहीं, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने देहरादून के गढ़ी कैंट बाजार में व्यापारियों और दुकानदारों से मुलाकात की. उन्होंने GST के नए स्लैब के बारे में जानकारी दी और लोगों से फीडबैक भी मांगा.
सीएम धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सरकार ने कई ज़रूरी वस्तुओं और सेवाओं पर GST दरें घटाई हैं. इसे "नेक्स्ट जनरेशन GST" कहा जा रहा है, जिसका मकसद है आम जनता को राहत देना, व्यापार को बढ़ावा देना और देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाना.
सीएम धामी ने स्वदेशी उत्पादों को अपनाने की अपील करते हुए कहा, “देश का हर नागरिक अगर स्वदेशी वस्तुओं को प्राथमिकता देगा, तो इससे किसान, कारीगर और छोटे व्यापारी सशक्त होंगे और देश की अर्थव्यवस्था भी मजबूत होगी.”
GST में हुए हालिया सुधारों का सीधा फायदा किसानों, व्यापारियों और आम जनता को मिल रहा है. कृषि उपकरणों और डेयरी उत्पादों के दाम घटने से ग्रामीण भारत को काफी राहत मिली है. साथ ही, स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा देने की अपील से लोकल व्यापार को भी नई ऊर्जा मिल रही है.
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