देश में खरीफ फसलों की बुवाई और रोपाई की रफ्तार तेज हो गई है. करीब 74 फीसदी एरिया में फसलों को बोया और रोपा जा चुका है. साल 2018-19 से 2022-23 तक देश में सभी खरीफ फसलों का कुल एरिया 1095.84 लाख हेक्टेयर रहा है. जिसमें से 26 जुलाई तक 811.87 लाख हेक्टेयर क्षेत्र कवर हो चुका है. पिछले साल यानी 2023 में इसी अवधि में 793.63 लाख हेक्टेयर एरिया में ही बुवाई हुई थी. इसका मतलब यह है कि पिछले साल के मुकाबले इस साल खरीफ फसलों का एरिया 18.24 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. धान, कॉटन और जूट का एरिया घट गया है, जबकि तिलहन, दलहन और मोटे अनाजों का एरिया बढ़ गया है. इस साल 26 जुलाई तक 215.97 लाख हेक्टेयर में धान की रोपाई और बुवाई हुई है, जो कि पिछले वर्ष से 0.42 लाख हेक्टेयर कम है. हालांकि, देश में धान का कुल एरिया 401 लाख हेक्टेयर है.
इस साल दलहन फसलों का एरिया पिछले साल के मुकाबले 12.62 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. केंद्रीय कृषि मंत्रालय ने बताया है कि 26 जुलाई तक 102.03 लाख हेक्टेयर में दलहन फसलों की बुवाई हो चुकी है, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि तक 89.41 लाख हेक्टेयर में ही बुवाई हुई थी. अरहर का एरिया 9.80 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. इस साल 38.53 लाख हेक्टेयर में अरहर की बुवाई हुई है, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि में 28.73 लाख हेक्टेयर एरिया ही कवर हुआ था. मूंगदाल का एरिया भी 3.36 लाख हेक्टेयर बढ़ा है. पिछले वर्ष 26 जुलाई तक 27.01 लाख हेक्टेयर एरिया मूंग की बुवाई हुई थी, जो इस साल बढ़कर 30.37 लाख हेक्टेयर हो गया है.
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मोटे अनाजों की बुवाई 153.10 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि तक 145.76 लाख हेक्टेयर में ही मोटे अनाज बोए गए थे. यानी इस बार पिछले साल के मुकाबले मोटे अनाजों का एरिया 7.34 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. पिछले एक सप्ताह में ही मोटे अनाज वाली फसलों की बुवाई में काफी तेजी आई है. ज्वार 12.10 लाख हेक्टेयर में बोया जा चुका है, जो कि पिछले साल से 1.52 लाख हेक्टेयर अधिक है. बाजरे की बुवाई 56.46 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है जो पिछले साल से 4.13 लाख हेक्टेयर कम है.
मक्का की बुवाई 78.80 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है, जो 2018-19 से 2022-23 तक रहे इसके पूरे सीजन के औसत एरिया 76.96 लाख हेक्टेयर से अधिक है. पिछले साल के मुकाबले 26 जुलाई तक मक्के का एरिया 9.44 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. पिछले साल इस अवधि तक 69.36 लाख हेक्टेयर में मक्का बोया गया था.
तिलहन फसलों का एरिया 6.30 लाख हेक्टेयर बढ़ गया है. इस साल 26 जुलाई तक 171.67 लाख हेक्टेयर में तिलहन फसलों की बुवाई हो चुकी है, जबकि पिछले साल इसी अवधि तक 165.37 लाख हेक्टेयर एरिया कवर हुआ था. मूंगफली 41.03 लाख हेक्टेयर में बोई जा चुकी है, जो पिछले साल से 4.95 लाख हेक्टेयर अधिक है. सोयाबीन की बुवाई 121.73 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है जो पिछले वर्ष से 4.73 लाख हेक्टेयर ज्यादा है.
कृषि मंत्रालय के अनुसार गन्ने की बुवाई 57.68 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है जो कि पिछले वर्ष से मामूली ही अधिक है. हालांकि जूट का एरिया 5.69 लाख हेक्टेयर है जो पिछले साल के मुकाबले थोड़ा कम है. उधर, कॉटन के एरिया में 7.81 लाख हेक्टेयर की कमी दर्ज की गई है. इस साल 26 जुलाई तक 105.73 लाख हेक्टेयर में कॉटन बोया गया है, जबकि पिछले साल इसी अवधि तक 113.54 लाख हेक्टेयर एरिया कवर हुआ था.
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