खरीफ बुवाई में 11 प्रतिशत उछाल, जानिए कौन-सी फसलें आगे निकलीं, किन फसलों का ब‍िगड़ा खेल

खरीफ बुवाई में 11 प्रतिशत उछाल, जानिए कौन-सी फसलें आगे निकलीं, किन फसलों का ब‍िगड़ा खेल

Kharif Sowing Data: समय से पहले मॉनसून ने खरीफ सीजन को रफ्तार दी है. अब तक बुवाई का आंकड़ा 400 लाख हेक्टेयर पार कर चुका है, जो बीते साल से कहीं ज्यादा है. कुछ प्रमुख फसलें रिकॉर्ड बढ़त में हैं, जबकि कुछ अहम फसलें उम्मीद से पीछे हैं. कौन-सी फसल आगे, कौन पिछड़ी?

Kharif Sowing 11 percent up in july 2025Kharif Sowing 11 percent up in july 2025
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Jul 08, 2025,
  • Updated Jul 08, 2025, 2:58 PM IST

देश में अच्‍छे और समय से पहले आए मॉनसून के चलते खरीफ सीजन में बुवाई में तेजी देखी जा रही है. 4 जुलाई तक हुई बुवाई के आंकड़े उम्मीद से बेहतर दिख रहे हैं. कृषि मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार 4 जुलाई तक धान, बाजरा और दालों की बुवाई में जोरदार बढ़ोतरी देखी गई है. वहीं, कुछ फसलों जैसे- मक्का, रागी और तुअर की बुवाई अब भी पिछले साल से पीछे चल रही हैं. सरकार ने 1096.65 लाख हेक्‍टेयर क्षेत्र में खरीफ बुवाई का लक्ष्‍य रखा है और 437.43 लाख हेक्‍टेयर में बुवाई पूरी हो चुकी है.
यानी अब तक लगभग 39.87 प्रतिशत (लगभग 40 प्रतिशत)  खरीफ बुवाई पूरी हो चुकी है, जो पिछले साल तक समान अवधि के मुकाबले 11 प्रतिशत ज्‍यादा है.

धान की बुवाई में 4.78 लाख हेक्टेयर की बढ़ोतरी

इस बार अब तक धान की बुवाई 69.3 लाख हेक्टेयर में हुई है, जो पिछले साल इसी समय के 64.52 लाख हेक्टेयर की तुलना में 4.78 लाख हेक्टेयर ज्यादा है. वहीं, दलहन की बुवाई में खास उछाल देखा गया है. मूंग की बुवाई ने 9.84 लाख हेक्टेयर में बुवाई के साथ बड़ी बड़ी छलांग लगाई है. इसके अलावा उड़द की बुवाई 5.27 लाख हेक्टेयर में हुई है, जो 2024 में 5.02 लाख हेक्‍टेयर थी. अब तक दलहन फसलों की कुल बुवाई 42.57 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में हुई है, पिछले साल इस अवधि के दौरान यह आंकड़े 31.48 लाख हेक्‍टेयर थे.

बाजरा की बुवाई में भी तेजी

कृषि मंत्रालय की रिपोर्ट के मुताबिक, मोटे अनाजों (कोर्स सीरियल्स) की बुवाई में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी देखी गई है. 30.82 लाख हेक्टेयर में बाजरा की बुवाई हुई है, जो पिछले साल 16.78 लाख हेक्‍टेयर में हुई थी यानी इसने 14.04 लाख हेक्टेयर की बड़ी छलांग लगाई है. वहीं, ज्वार की बुवाई में भी बढ़ोतरी दर्ज की गई है, अबतक 5.54 लाख हेक्टेयर में ज्‍वार की बुवाई है, जो 2024 में समान अवधि तक 4.64 लाख हेक्‍टेयर में बोई गई थी.

इन फसलों की बुवाई में गिरावट

इसके अलावा कुछ फसलों की बुवाई में गिरावट दर्ज की गई है. इनमें मक्‍का, रागी और तुअर (अरहर) शामिल है. रिपेार्ट के मुताबि‍क, मक्का की बुवाई 40.21 से घटकर 39.35 लाख हेक्टेयर रह गई यानी 0.86 लाख हेक्टेयर की गिरावट आई. रागी की बुवाई में भी मामूली गिरावट हुई और यह 1.02 लाख हेक्‍टेयर से घटकर 0.72 लाख हेक्टेयर रह गई. वहीं, दलहन में तुअर दाल की बुवाई में गिरावट के कारण यह 18.52 से घटकर 16.47 लाख हेक्टेयर रह गई.

गन्‍ना-कपास की बुवाई भी बढ़ी

देशभर में इस खरीफ सीजन में गन्‍ना और कपास की बुवाई में पिछले साल की तुलना में हल्की वृद्धि दर्ज की गई है. वहीं, जूट और मेस्‍टा की बुवाई में कमी देखी गई है. गन्‍ना की बुवाई इस वर्ष 55.16 लाख हेक्टेयर तक पहुंच गई है, जो पिछले साल के 54.88 लाख हेक्टेयर के मुकाबले 0.29 लाख हेक्टेयर ज्‍यादा है. कपास की बुवाई 2025 में 79.54 लाख हेक्टेयर रही, जबकि 2024 में यह 78.58 लाख हेक्टेयर थी यानी 0.96 लाख हेक्टेयर की वृद्धि.

वहीं, जूट और मेस्‍टा की स्थिति मामूली रूप से कमजोर बनी हुई है, क्‍योंकि जूट की बुवाई 5.32 लाख हेक्टेयर दर्ज की गई, जो पिछले साल 5.43 लाख हेक्टेयर थी. मेस्‍टा की बुवाई 0.15 लाख हेक्टेयर रही, जो 2024 में 0.20 लाख हेक्टेयर थी. कुल मिलाकर, जूट और मेस्‍टा दोनों मिलाकर 5.47 लाख हेक्टेयर में बुवाई हुई, जो पिछले साल से 0.15 लाख हेक्टेयर कम है.

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