बिहार के किसानों के लिए खुशखबरी है. अब फसल में लगने वाले रोग को लेकर चिंता करने की जरूरत नहीं है. क्योंकि बिहार सरकार दलहन, तिलहन और बागवानी फसलों को कीटों के हमले से बचाने के लिए किसानों को सब्सिडी देगी. खास बात यह है कि किसान बिना कीटनाशक का इस्तेमाल किए ही कीटों को नियंत्रित करेंगे. दरअसल, सरकार कीटों से फसलों को बचाने के लिए लाइट ट्रैप, फेरोमोन ट्रैप, स्टिकी ट्रैप और लाइफ लाइन ट्रैप पर 75 प्रतिशत तक सब्सिडी दे रही है. यानी किसान लाइट ट्रैप, फेरोमोन ट्रैप, स्टिकी ट्रैप और लाइफ लाइन ट्रैप की मदद से फसल को कीटों से बचा सकते हैं.
जानकारी के मुताबिक, रैयत और गैर रैयत किसान भी इस सब्सिडी का लाभ उठा सकते हैं. एक किसान अधिकतम एक एकड़ तक के लिए ही सब्सडी का लाभ उठा सकते हैं. हालांकि, टाल क्षेत्र के किसानों के लिए छूट दी गई है. टाल क्षेत्र के किसान अधिकतम 3 एकड़ जमीन के लिए सब्सिडी का लाभ उठा सकते हैं. अगर किसान सब्सिडी का लाभ उठाना चाहते हैं, तो सबसे पहले उनको कृषि विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर आवेदन करना होगा. वहीं, सहायक निदेशक पौधा संरक्षण विनय कुमार सिंह का कहना है कि खाद्यान, दलहन और तिलहन फसलों के लिए फेरोमोन ट्रैप सेट (1 ट्रैप स्डैंट औऱ 3 ल्यौर) 5 सेट प्रति एकड़ क्रय मूल्य का 75 प्रतिशत राशि 450 रुपये में मिलेगा.
इसी तरह फल, सब्जी, दलहन, तिलहन के लिए स्टिकी ट्रैप पीला और नीला ए-4 साइज प्रति एकड़ 315 रुपये अनुदान मिलेगा. वहीं, फल सब्जियों के लिए लाइफ टाइम ट्रैप सेट (5 सेट) के लिए 750 रुपये की सब्सिडी दी जाएगी. वहीं, दलहन, तेलहन और बागवानी फसलों के लिए लाइफ ट्रैप सेट एक सेट प्रति एकड़ कीमत 1152 रुपये है.
ये भी पढ़ें- सीआरपीएफ जीडी भर्ती 2024 के लिए आवेदन शुरू, 10वीं पास अभ्यर्थी ऑनलाइन अप्लाई करें
बता दें कि बिहार में किसान बड़े स्तर पर दलहन, तिलहन और बागवानी फसलों की खेती करते हैं. इसस किसानों की बंपर कमाई होती है. लेकिन कीट भारी मात्रा में फसलों को प्रभावित करते हैं. इससे उत्पादन गिर जाता है. ऐसे में किसानों को आर्थिक नुकसान होता है. वहीं, कई किसान कीटों से फसल को बचाने के लिए कीटनाशकों का छिड़काव करते हैं, जोकि काफी महंगा होता है. लेकिन अब आर्थिक रूप से कमजोर किसान भी सब्सिडी का लाभ उठाकर फसल को कीटों से बचा सकते हैं.
ये भी पढ़ें- PHOTOS: बागवानी फसलों की खेती से हुआ कमाल, साल में 50 लाख की इनकम कर रहा किसान
Copyright©2024 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today