सब्जी उत्पादन के क्षेत्र में बिहार अग्रणी राज्यों में शामिल है. बिहार सरकार अगेती और पछेती सब्जियों की खेती किसान आसानी से कर सकें, इसको लेकर काम कर रही है. इसके साथ ही सब्जी की खेती को आधुनिक तकनीक से कराने में पॉलीहाउस और शेडनेट की अहम भूमिका रहती है. लेकिन जब यह खराब हो जाता है तो इसकी मरम्मत को लेकर अभी तक राज्य सरकार की ओर से कोई योजना काम नहीं कर रही है. लेकिन अब किसानों को सोचने की जरूरत नहीं है क्योंकि राज्य सरकार के कृषि विभाग के अंतर्गत उद्यान निदेशालय पॉलीहाउस और शेडनेट की मरम्मत को लेकर योजना बना रही है. इसके जरिये मरम्मत को लेकर अनुदान दिया जाएगा.
किसान तक से बातचीत करते हुए उद्यान विभाग के निदेशक अभिषेक कुमार ने कहा कि शेडनेट हाउस, पॉली हाउस की मरम्मत से जुड़ी कई तरह की जानकारी किसानों के जरिये मिली है. इसी को देखते हुए सभी जिलों में मरम्मत वाले पॉलीहाउस और शेडनेट का सर्वे किया जा रहा है. वहीं रिपोर्ट आने के बाद विभाग द्वारा योजना शुरू की जाएगी. इसके साथ ही एक दिसंबर से दो दिवसीय मखाना महोत्सव शुरू किया जा रहा है, जिसका मकसद बिहार के मखाना को विश्व के देशों तक पहुंचाने का लक्ष्य है.
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उद्यान निदेशक अभिषेक कुमार के अनुसार पॉलीहाउस और शेडनेट की मरम्मत से जुड़े जिलों से सर्वे रिपोर्ट मंगाई जा रही है. इसमें अभी तक करीब 32 जिलों से रिपोर्ट आ चुकी है. वहीं बाकी छह जिलों से सर्वे रिपोर्ट आना बाकी है. इसके बाद एक महीने के अंदर पॉलीहाउस और शेडनेट की मरम्मत से जुड़ी योजना शुरू की जा सकती है. इसके साथ ही आलू भंडारण के लिए नए कोल्ड स्टोरेज स्थापित करने के लिए विभाग योजना शुरू करने जा रहा है.
राज्य की राजधानी पटना में दूसरी बार 1 और 2 दिसंबर को मखाना महोत्सव मनाया जा रहा है. वहीं इस बार महोत्सव में मखाना की खेती और प्रोसेसिंग से जुड़े यंत्र की प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी. साथ ही इसे विश्व के बाजार तक कैसे पहुंचाया जाए, इसको लेकर भी महोत्सव में चर्चा की जानी है. इस महोत्सव के बारे में विस्तार से उद्यान विभाग के निदेशक ने बताया कि मखाना की खेती करना जितना ही कठिन हो, उतना ही इसका दैनिक दिनचर्या में उपयोग स्वास्थ्यवर्धक है. इसी को देखते हुए मखाना व्यंजन प्रतियोगिता के माध्यम से मखाना से बनने वाले कई तरह के व्यंजन की भी जानकारी लोगों की दी जाएगी ताकि लोग इसे दैनिक दिनचर्या में शामिल कर सकें.
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