Onion Price: बड़ा सवाल! कब गिरेंगे प्याज के भाव, सरकार के इस कदम से मिले संकेत

Onion Price: बड़ा सवाल! कब गिरेंगे प्याज के भाव, सरकार के इस कदम से मिले संकेत

प्याज के दाम सिर्फ राजधानी दिल्ली में ही नहीं बढ़ें हैं जबकि अन्य राज्यों में भी प्याज की कीमतों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है. उत्पादन में कमी आना और त्योहारी सीजन में बढ़ी प्याज की मांग सहित अन्य कारणों को प्याज की कीमत बढ़ने की वजह बताई जा रही है.

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Onion Price: बड़ा सवाल! कब गिरेंगे प्याज के भाव, सरकार के इस कदम से मिले संकेतप्याज की बढ़ी कीमतों का असर सांकेतिक तस्वीर

प्याज की बढ़ती कीमते पिछले 15 दिनों से देशवासियों के लिए एक परेशानी का सबब बना गया है. इसके कारण लोगों की रसोई का जायका खराब हो गया है.हालांकी कीमतों को नियंत्रित करने के लिए सरकार प्रयास कर रही है पर अभी अभी कीमतें आसमान छू रही है. 29 अक्टूबर तक पूरे देश में प्याज की औसत खुदरा कीमत 48 रुपये प्रति किलो थी वहीं आज अधिकतम खुदरा मूल्य 83 रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच गया है. दिल्ली-एनसीआर में भी खुदरा बाजारों में प्याज 80 रुपये प्रति किलो की दर से बिक रहा है. प्याज की कीमतों में लगभग 100 प्रतिशत तक का यह उछाल महज एक पखवाड़े में देखा गया है. वहीं दूसरी तरफ सरकार सरकार 25 रुपये प्रति किलोग्राम पर सब्सिडी वाला प्याज उपलब्ध कराने के लिए काम कर रही है.

देश के विभिन्न मंडियों से मिली जानकारी के अनुसार प्याज के दाम सिर्फ राजधानी दिल्ली में ही नहीं बढ़ें हैं जबकि अन्य राज्यों में भी प्याज की कीमतों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है. उत्पादन में कमी आना और त्योहारी सीजन में बढ़ी प्याज की मांग सहित अन्य कारणों को प्याज की कीमत बढ़ने की वजह बताई जा रही है. सामान्य दुकानों में जहां जहां प्याज 65 से 80 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से बिक रहा है वहीं ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर भी लगभग प्याज इसी कीमत पर बिक रही है. 

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दो महीने तक कीमतों में कमी आने की नहीं उम्मीद

एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने पीटीआई-भाषा को बताया कि खराब मौसम की स्थिति के कारण खरीफ प्याज की बुआई में देरी हुई है, जिसके कारण अभी प्याज तैयार नहीं हुई है और बाजार में इसकी आवक कम हुई है. इसलिए प्याज के थोक और खुदरा कीमतों में आए भारी उछाल के पीछे खरीफ प्याज फसल में हुई देरी को एक बड़ी वजह माना जा रहा है. जिस तरह से हालात फिलहाल नजर आ रहे हैं उसके मुताबिक माना जा रहा है कि अभी कम से कम दो दिसंबर तक प्याज की कीमतों में कमी आने की कोई संभावना नहीं है. क्योंकि इससे पहले खरीफ प्याज की आपूर्ति थोक बाजारों तक नहीं हो पाएगी. हालांकि भविष्य में कीमते सरकार के प्रयासों पर निर्भर करेंगी. क्योंकि सरकार इसके दाम कम करने के प्रयास में है.

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कीमतें कम करने का प्रयास कर रही सरकार

उपभोक्ता मामलों के सचिव रोहित कुमार सिंह ने कहा कि सरकार कीमतों में और बढ़ोतरी को रोकने और उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए उनके खुदरा वितरण को तेज कर रही है. उन्होंने कहा कि अगस्त के मध्य से 22 राज्यों के विभिन्न स्थानों पर लगभग 1.7 लाख टन बफर प्याज की आपूर्ति की गई है. दो सहकारी संगठनों: राष्ट्रीय सहकारी उपभोक्ता महासंघ (एनसीसीएफ) और भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन महासंघ लिमिटेड (नेफेड) के माध्यम से बफर प्याज 25 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर उपलब्ध कराया जा रहा है. दिल्ली उन क्षेत्रों में से एक है जहां बफर प्याज इस कम दर पर उपलब्ध है. 

 

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