प्याज की खेती भारत में बड़े पैमाने पर की जाती है. देश में इसकी खेती खरीफ और रबी दोनों ही सीजन में की जाती है, पर खरीफ सीजन में प्याज की खेती बड़े पैमाने पर की जाती है. देश में प्याज की खेती करने वाले किसानों की संख्या भी काफी अधिक है. इसकी खेती से किसानों को अच्छी कमाई होती है. भारत से प्याज का निर्यात भी बड़े पैमाने पर किया जाता है. साथ ही इसका भंडारण भी किया जाता है. पर कई बार सही भंडारण नहीं हो पाने के कारण या लंबे समय तक रखने के कारण प्याज में सड़न की शिकायत शुरू हो जाती है. एक बार सड़न शुरू होने पर पूरी बोरी खराब हो जाती है. इससे किसानों को काफी नुकसान हो जाता है.
पर किसानों को अब प्याज सड़न की परेशानी से नहीं जूझना होगा क्योंकि किसानों की इस परेशानी को देखते हुए भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान ने प्याज की एक नई किस्म जारी की है. इस किस्म की खासियत यह है कि इसका भंडारण लंबे समय तक किया जा सकता है. प्याज की इस नई किस्म को खास करके गर्मियों के लिए तैयार किया गया है. प्याज की यह किस्म शरीर को डिहाइड्रेशन से बचाने में मददगार साबित होगी. आईसीएआर द्वारा विकसित प्याज की इस नई किस्म का नाम पूसा शोभा है. इसके सेवन से गर्मियों में लाभ होता है.
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पूसा शोभा प्याज की किस्म जल्दी सूखती नहीं है. इसकी यह क्वालिटी बाजार में प्याज की कीमतों को स्थिर रखने में मदद करती है. खास कर ऐसे समय में जब प्याज खेत में लगा होता है और ऑफ सीजन चल रहा होता है. इसकी इसी क्वालिटी के कारण यह प्याज घरेलू और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में अपनी मजबूत पकड़ बना सकता है. पूसा शोभा प्याज की नई वेरायटी में कैलोरी की मात्रा काफी कम होती है. जबकि इसमें प्रचूर मात्रा में विटामिन बी, पोटैशियम और विटामिन सी मिलता है. प्याज आयोडीन का एक बेहतरीन स्रोत होता है. इसमें एंटीफंगल गुण होने के साथ यह तीखा भी होता है.
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पूसा शोभा किस्म के प्याज का आकार सख्त और ग्लोब की तरह गोल होता है. प्याज की यह किस्म भंडारण करने के साथ साथ सूखा कर रखने के लिए और प्रोसेसिंग के लिए उपयुक्त मानी जाती है. इसके अलावा निर्यात के लिहाज से भी यह प्याज काफी अच्छा होता है. प्याज की यह किस्म अपने स्वाद, तीखापन और औषधीय गुणों के लिए जानी जाती है. इसका अधिक इस्तेमाल सलाद के तौर पर होता है. साथ ही करी बनाने, सूप बनाने और आचार बनाने के लिए इसका इस्तेमाल किया जाता है.
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