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तमिलनाडु में तीन गुना बढ़ गया हल्दी का होलसेल रेट, किसानों की हो रही है बंपर कमाई, जानें ताजा मंडी भाव

तमिलनाडु में तीन गुना बढ़ गया हल्दी का होलसेल रेट, किसानों की हो रही है बंपर कमाई, जानें ताजा मंडी भाव

इरोड हल्दी व्यापारी और गोदाम मालिक संघ के सचिव एम सत्यमूर्ति ने कहा कि सीजन की शुरुआत में ही खरीद मूल्य बढ़ गया था. फिलहाल ताजी हल्दी की कीमत 16,400 रुपये प्रति क्विंटल है. एक सप्ताह पहले यह 15,000 रुपये थी. पुरानी हल्दी की कीमत करीब 14,500 रुपये है.

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हल्दी की खेती करने वाले किसान हुए मालामाल. (सांकेतिक फोटो) हल्दी की खेती करने वाले किसान हुए मालामाल. (सांकेतिक फोटो)

तमिलनाडु के इरोड जिले में हल्दी की खेती करने वाले किसान इस साल बंपर कमाई कर रहे हैं. कहा जा रहा है कि जिले की मंडियों में सप्लाई प्रभावित होने के चलते हल्दी की कीमत लगभग तीन गुना बढ़ गई है. ऐसे में किसान पिछले साल के मुकाबले बहुत अधिक मुनाफा कमा रहे हैं. दरअसल, इरोड को तमिलनाडु का हल्दी केंद्र कहा जाता है. जिले में हल्दी का औसत उत्पादन 22 टन प्रति हेक्टेयर है. 

द न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, पिछले साल इरोड में हल्दी काफी सस्ता हो गया था. इसका रेट गिरकर 5,000-6000 रुपये क्विंटल तक पहुंच गया था. ऐसे में किसानों को आर्थिक नुकसान उठाना पड़ा और वे दूसरी फसल की खेती करने लगे. इससे उत्पादन में गिरावट आ गई और मांग-आपूर्ति में अंतर आने के चलते कीमत 15,000 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गई. यही वजह है कि तमिलनाडु के किसान इस बार हल्दी बेचकर बंपर कमाई कर रहे हैं.

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हल्दी का ताजा मंडी भाव

इरोड हल्दी व्यापारी और गोदाम मालिक संघ के सचिव एम सत्यमूर्ति ने कहा कि सीजन की शुरुआत में ही खरीद मूल्य बढ़ गया था. फिलहाल ताजी हल्दी की कीमत 16,400 रुपये प्रति क्विंटल है. एक सप्ताह पहले यह 15,000 रुपये थी. पुरानी हल्दी की कीमत करीब 14,500 रुपये है. उन्होंने कहा कि इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि यह अच्छी कीमत है. उनकी माने तो इरोज में रोजाना 1 से 3 करोड़ रुपए की हल्दी का कारोबार होता है.

किसानों ने कम कर दी हल्दी की खेती

एम सत्यमूर्ति ने आगे कहा कि पिछले साल ऐसा नहीं था. शुरुआत से ही, खरीद मूल्य लगभग 5000-6000 रुपये प्रति क्विंटल था. कम कीमत से परेशान होकर कई किसानों ने खेती का रकबा कम कर दिया और कई अन्य फसलों की ओर रुख करने लगे. सप्लाई खराब होने के कारण कीमतें बढ़ने लगीं. दिसंबर में यह 13,000 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गया. उन्होंने कहा कि कीमतों में बढ़ोतरी लगातार जारी है, क्योंकि आपूर्ति मांग के अनुरूप नहीं हो पा रही है. उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि इस वर्ष कीमत में उल्लेखनीय गिरावट की संभावना नहीं है. हालांकि, बाजार में अधिक हल्दी आने से कुछ मामूली उतार-चढ़ाव हो सकता है.

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4694 हेक्टेयर में होती है हल्दी की खेती

किसान और तमिलनाडु लघु एवं सूक्ष्म किसान संघ के अध्यक्ष केआर सुधांथिरासु ने कहा कि हल्दी की फसल शुरू हो गई है और मई तक जारी रहेगी. यह देखकर अच्छा लगता है कि किसानों को अच्छा रिटर्न मिल रहा है. बागवानी विभाग के अधिकारियों ने कहा कि 2022-2023 में, इरोड जिले में 4694.435 हेक्टेयर में हल्दी की खेती की गई थी. 2023-2024 में यह घटकर 3742.7 हेक्टेयर रह गया. इसका कारण यह है कि खरीद मूल्य कम था. अब जब कीमत बढ़ गई है, तो हमें उम्मीद है कि अधिक किसान फिर से हल्दी की खेती शुरू करेंगे.