हरियाणा के करनाल में भी गेहूं की सरकारी खरीद जोर-शोर से चल रही है. वहीं अलग-अलग किसान संगठनों की तरफ से कई अनाज मंडियों में गेहूं की तौल में अनियमितताओं के बारे में चिंता जताई गई थी. इन चिंताओं ने जिला प्रशासन को अलर्ट कर दिया है. प्रशासन ने सतर्कता बढ़ा दी है और अनाज मंडियों में किसानों के गेहूं से भरे बोरों की जांच शुरू कर दी है. इसके अलावा अधिकारी कई गोदामों में उतारे गए स्टॉक की भी जांच कर रहे हैं.
बीकेयू (मान) और बीकेयू (सर छोटू राम) के नेताओं ने बोरियों में अतिरिक्त गेहूं भरे जाने से जुड़े मसलों को उठाया था. इन शिकायतों पर डिप्टी कमिश्नर ने प्रतिक्रिया दी है. डिप्टी कमिश्नर उत्तम सिंह ने अतिरिक्त उपायुक्त (एडीसी) यश जालुका को जांच सौंप दी है. इसके बाद जिले के सभी उप-विभागीय मजिस्ट्रेट (एसडीएम) को अनाज मंडियों का निरीक्षण करने का निर्देश दिया गया है.
जालुका ने कहा, 'किसान यूनियनों की तरफ से उठाए गए मुद्दों के बाद डीसी ने मुझे जांच सौंपी है. सभी एसडीएम को अनाज मंडियों और गोदामों का निरीक्षण करने के निर्देश दिए गए हैं. मैंने खुद भी कुछ गोदामों का दौरा किया है.' उन्होंने कहा कि किसी भी स्तर पर अनियमितता हरगिज बर्दाश्त नहीं की जाएगी.
बीकेयू (मान) के अध्यक्ष रतन मान और बीकेयू (सर छोटू राम) के प्रवक्ता बहादुर सिंह मेहला के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने अलग-अलग अनाज मंडियों का दौरा किया था. इसके बाद गेहूं के वजन में अनियमितताओं का मुद्दा उठाया गया था. करनाल की नई अनाज मंडी में दौरे के बाद रतन मान ने कहा था कि कुछ गेहूं की बोरियों का वजन निर्धारित सीमा से लगभग 500-700 ग्राम ज्यादा मिला है. जबकि किसानों ने आरोप लगाया कि कुछ मामलों में वजन प्रति बैग 51 किलोग्राम से अधिक था.
इस बीच, सीएम फ्लाइंग की टीमों ने भी अनाज मंडियों का दौरा किया और अनियमितताएं पाईं. अनियमितताओं के चलते दो आढ़तियों के लाइसेंस भी सस्पेंड कर दिए गए हैं. जो गाइडलाइंस दी गई हैं उसके तहत हर बैग का वजन 50.600 किलोग्राम होना चाहिए, जिसमें 50 किलोग्राम गेहूं और 600 ग्राम बोरी शामिल है.
हरियाणा के खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग की तरफ से एक अप्रैल से रबी खरीद सीजन 2025-26 के तहत करनाल समेत में राज्य के 415 खरीद केंद्रों पर गेहूं की खरीद जारी है. करनाल में 23 केंद्रों पर गेहूं की खरीद हो रही है. करनाल में गेहू की खरीद एक हफ्ते देरी से यानी आठ अप्रैल से शुरू हुई थी. कृषि विभाग के अनुमान के अनुसार अब तक 24.63 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में गेहूं की बुवाई की गई है और उत्पादन करीब 116.24 लाख मीट्रिक टन होने की संभावना है.
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