अंडे और चिकन का कारोबार करने से पहले जानें यह 15 खास बातें  

अंडे और चिकन का कारोबार करने से पहले जानें यह 15 खास बातें  

मंदी से तो पोल्ट्री कारोबारी फिर भी निपट लेते हैं, लेकिन बर्ड फ्लू के चलते तो पूरे के पूरे पोल्ट्री फार्म को मुर्गे-मुर्गियों से साफ कर दिया जाता है. एक झटके में 2 लाख करोड़ रुपये करीब का यह कारोबार जमीन पर आ जाता है. 5-10 हजार मुर्गे-मुर्गी वाले पोल्ट्री फार्म पर तो मानों ताला ही लग जाता है.

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अंडे और चिकन का कारोबार करने से पहले जानें यह 15 खास बातें  पोल्ट्री फार्म में रखे देसी अंडे.

पोल्ट्री फेडरेशन ऑफ इंडिया के मुताबिक पोल्ट्री बिजनेस हर साल 10 से 12 फीसद की रफ्तार से बढ़ रहा है. कोरोना के बाद से भी अंडे और चिकन की डिमांड बढ़ी है. पोल्ट्री  प्रोडक्ट का एक्स‍पोर्ट भी हर साल बढ़ रहा है. इंटीग्रेटेड पोल्ट्री कांसेप्ट के चलते ब्रॉयलर चिकन का कारोबार तेजी से बढ़ रहा है. छोटी-बड़ी मिलाकर करीब 200 कंपनियां इंटीग्रेटेड पोल्ट्री के तहत ब्रॉयलर चिकन का बिजनेस कर रही हैं. देश में हर रोज 22 से 25 करोड़ अंडों की डिमांड होती है. 

मंदी से तो पोल्ट्री कारोबारी फिर भी निपट लेते हैं, लेकिन बर्ड फ्लू के चलते तो पूरे के पूरे पोल्ट्री फार्म को मुर्गे-मुर्गियों से साफ कर दिया जाता है. एक झटके में 2 लाख करोड़ रुपये करीब का यह कारोबार जमीन पर आ जाता है. 5-10 हजार मुर्गे-मुर्गी वाले पोल्ट्री फार्म पर तो मानों ताला ही लग जाता है. आइए जानते हैं देश में कैसे काम करता है अंडे और चिकन से जुड़ा यह कारोबार. 

अंडे- 

  • बाजार में बिकने वाला सामान्य अंडा लेयर बर्ड नाम की मुर्गी देती है. 
  • लेयर बर्ड एक साल में 280 से लेकर 290 तक अंडे देती है.
  • एक अंडे का वजन 55 ग्राम से लेकर 60 ग्राम तक होता है. 
  • लेयर बर्ड वो अंडा नहीं देती है जिसमे से चूजा निकलता है. 
  • देश में 28 करोड़ मुर्गियां अंडे की डिमांड को पूरा करती हैं. 
  • अंडा देने वाली मुर्गी रोजाना 125 ग्राम तक दाना खाती हैं. 
  • मुर्गियों के दाने में बाजरा, मक्का, सोयाबीन, कुछ दवाई और कंक्कड़-पत्थर दिए जाते हैं. 
  • नेशनल एग कोऑर्डिनेशन कमेटी देशभर में अंडे के रेट तय करती है. 
  • संडे हो या मंडे, रोज खाएं अंडे का विज्ञापन नेशनल एग कोऑर्डिनेशन कमेटी ही देती है. 

ब्रॉयलर चिकन- 

  • एक दिन का ब्रॉयलर चिकन का चूजा 40 से 45 रुपये का आता है. 
  • 30 दिन में चूजा 900 से 1150 ग्राम का हो जाता है जो तंदूरी चिकन में इस्तेमाल होता है. 
  • ब्रॉयलर चिकन के रेट उसके वजन के हिसाब से तय होते हैं. 
  • ब्रॉयलर चिकन जितना भारी होता है उसके रेट उतने ही कम होते हैं. 
  • अकेले गाजीपुर, दिल्ली मंडी से रोजाना 5 लाख ब्रॉयलर मुर्गों की सप्लाई होती है. 
  • देश में साल 2020-21 में करीब 435 करोड़ ब्रॉयलर मुर्गों की जरूरत पड़ी थी. 
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