महाराष्ट्र के ठाणे में पुलिस ने एक यूरिया डायवर्जन रैकेट का भंडाफोड़ किया है. एक अधिकारी ने जानकारी दी है कि ठाणे ग्रामीण पुलिस ने 78 लाख रुपये की कीमत का यूरिया स्टॉक जब्त किया और इस उर्वरक के कथित अवैध उपयोग के सिलसिले में 11 लोगों को गिरफ्तार भी किया है. अधिकारी ने बताया कि प्रथम दृष्टया, आरोपी किसानों के लिए सब्सिडी वाले यूरिया को औद्योगिक सामग्री बताकर ब्लैक मार्केट में बेच रहे थे.
ठाणे पुलिस द्वारा जारी एक विज्ञप्ति के अनुसार, पुलिस ने शनिवार को सैकड़ों यूरिया बैगों से लदे दो 16-पहिया ट्रकों को रोका, जिन पर संदिग्ध रूप से "औद्योगिक उपयोग" का चिह्न लगा हुआ था. चेकिंग के बाद कृषि विभाग को तुरंत बुलाया गया. पुलिस ने बताया कि कृषि विभाग के अधिकारियों ने पुष्टि की है कि ट्रक में मिले स्टॉक में खेती के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला अर्ध-लेपित यूरिया शामिल था, जिसे औद्योगिक पुनर्विक्रय के लिए सादे सफेद बैगों में अवैध रूप से पैक किया गया था. यह जब्ती उसी शाम मुंबई-नासिक राजमार्ग पर पडघा गांव में एक गोदाम पर पुलिस और क्राइम ब्रांच के अफसरों द्वारा की गई छापेमारी के बाद हुई.
इस छापेमारी के दौरान पुलिस को कई सारे श्रमिक भी मिले जो कृषि-ग्रेड यूरिया को सफेद थैलियों में दोबारा पैक कर रहे थे. अपने बयान में पुलिस ने कहा कि जब्ती में 35.90 लाख रुपये मूल्य के 1,217 बैग यूरिया, 13,586 रुपये मूल्य के पीले कृषि-ग्रेड यूरिया के 51 बैग, पकड़े गए दो ट्रकों से 700-700 बैग, जिनकी कुल कीमत 41.30 लाख रुपये है और दोबारा पैक करने का सामान शामिल है. पुलिस ने आगे बताया कि गिरफ्तार किए गए 11 लोगों में गोदाम के आठ कर्मचारी, दो ड्राइवर और ट्रकों का एक क्लीनर शामिल है.
इसको लेकर उर्वरक नियंत्रण आदेश, 1985, उर्वरक (परिवहन नियंत्रण) आदेश, 1973, आवश्यक वस्तु अधिनियम, 1955 और भारतीय न्याय संहिता की संबंधित धाराओं के तहत पडघा पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है. पुलिस इस मामले में आगे की जांच कर रही है.
गौरतलब है कि इस रबी सीजन पूरे देश में ही उर्वरक, खासतौर पर यूरिया को लेकर किसानों को मारा-मारी झेलनी पड़ी है. इसी के चलते केंद्र सरकार ने फैसला लिया है कि इस बात का ध्यान रखा जाए कि आगामी रबी सीजन के लिए बहुत ज्यादा सब्सिडी वाले उर्वरकों का प्रयोग गैर-कृषि कार्यों में न हो ताकि किसानों के लिए खाद की उपलब्धता में कमी ना आए. कृषि मंत्रालय ने इसको लेकर राज्यों को आदेश दिए हैं कि वे तीन स्तरीय कमेटी बनाएं और उर्वरकों के प्रयोग पर कड़ी निगरानी रखें. (सोर्स- PTI)
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