बरसात का मौसम जितना सुकून भरा होता है, उतना ही चुनौतीपूर्ण होता है बागवानी करने वालों के लिए. खासकर अगर आप टमाटर उगा रहे हैं, तो बारिश की नमी, कीट और फफूंदी जैसे कई मसले सामने आते हैं. कई बार मेहनत के बाद भी टमाटर के पौधे फल नहीं देते या फल जल्दी खराब हो जाते हैं. लेकिन 3 आसान उपाय अपनाकर आप इस बरसात न सिर्फ स्वस्थ पौधे उगा सकते हैं, बल्कि टमाटर की पैदावार भी 2 से 3 गुना तक बढ़ा सकते हैं. आइए जानते हैं इन आसान और असरदार टिप्स के बारे में:
बरसात में टमाटर का पौधा तेजी से बढ़ता है, लेकिन हर शाखा फल नहीं देती. माली बताते हैं कि पौधे की जो साइड ब्रांचेस या "सकर" होती हैं, उन्हें समय-समय पर काट देना चाहिए. इससे पौधे का ऊर्जा और पोषण फलों पर केंद्रित होता है और ज्यादा टमाटर लगते हैं.
बरसात में मिट्टी में फंगस और कीड़ों की समस्या बढ़ जाती है. ऐसे में जैविक खाद जैसे नीम खली, गोबर की खाद और लकड़ी की राख मिलाकर मिट्टी तैयार करें.
फायदे:
कैसे मिलाएं:
बरसात में टमाटर के पौधों में अक्सर फूल झड़ने की समस्या होती है. इससे फल नहीं बन पाते. माली सलाह देते हैं कि 1 लीटर पानी में 2 चम्मच दही मिलाकर हर 10-15 दिन में पौधों पर स्प्रे करें.
फायदा:
दही में मौजूद बैक्टीरिया पौधों में नेचुरल ग्रोथ हार्मोन बनाते हैं, जिससे फूल नहीं झड़ते और फलों का निर्माण होता है.
टमाटर के पौधों को पानी से बचाना बहुत ज़रूरी है. टमाटर का पौधा ज़्यादा पानी नहीं झेल पाता. ऐसे में या तो पौधा पानी की वजह से सूख जाता है या सड़ जाता है. बारिश की वजह से गमलों में पानी भर सकता है, जिससे जड़ें सड़ने लगती हैं.
सुझाव:
बरसात के लिए कुछ टमाटर की किस्में खास होती हैं. 'चाइनीज चेरी', 'रोमा', या देसी गोल टमाटर की किस्में लगाएं. ये किस्में बरसात में जल्दी खराब नहीं होतीं और ज्यादा फल देती हैं.
अगर आप टमाटर को स्वादिष्ट और हेल्दी बनाना चाहते हैं, तो केमिकल फर्टिलाइज़र से बचें. वर्मी कम्पोस्ट, घर की बनी खाद या नीम खली का उपयोग करें.
यह सुनने में अजीब लग सकता है, लेकिन कुछ माली मानते हैं कि अगर आप पौधों से प्यार से बात करें, उन्हें नियमित देखें और समय दें, तो पौधे तेजी से बढ़ते हैं और अच्छी पैदावार देते हैं. यह मनोवैज्ञानिक ट्रिक पौधों पर सकारात्मक असर डालती है.
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