Farming Tips: सिर्फ खाने का स्‍वाद ही नहीं बढ़ाती मिर्च, खेतों से कीड़ों को भी रखती है दूर, जानें कैसे

Farming Tips: सिर्फ खाने का स्‍वाद ही नहीं बढ़ाती मिर्च, खेतों से कीड़ों को भी रखती है दूर, जानें कैसे

कैप्साइसिन मिर्च में एक एक्टिव फैक्‍टर है और यह कैप्सिकम जीनस के पौधों से मिलता है. यूं तो मिर्च आमतौर पर खाना पकाने में इस्तेमाल होती है लेकिन इसके कृषि संबंधी उपयोग भी बेहद अनमोल हैं. कैप्साइसिन, स्तनधारी जीवों जैसे हाथी के लिए एक तरह के रेपेलेंट के तौर पर काम करता है.

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क‍िसान तक
  • New Delhi ,
  • Sep 29, 2025,
  • Updated Sep 29, 2025, 1:45 PM IST

कीट नियंत्रण के लिए किफायती और पर्यावरण के अनुकूल उपाय खोजने में कई जैविक विकल्प बहुत महत्वपूर्ण हो सकते हैं, खासतौर पर तब जब रासायनिक उर्वरकों को लेकर जागरूकता बढ़ाई जा रही हो. लेकिन क्‍या आपने कभी सोचा है कि आपके खाने की थाली का रंग और स्‍वाद बढ़ाने वाली मिर्च भी खेतों में कीट प्रबंधन के लिए कारगर हो सकती है. मिर्च में ऐसा ही एक समाधान होता है. मिर्च के तीखेपन की वजह होता है ऑर्गेनिक कैप्साइसिन और यही कई फसलों को नुकसान पहुंचाने वाले कीटों के खिलाफ एक प्रभावी विकल्प साबित हो सकता है. 

मिर्च कैसे बन सकती है प्रभावी 

कैप्साइसिन मिर्च में एक एक्टिव फैक्‍टर है और यह कैप्सिकम जीनस के पौधों से मिलता है. यूं तो मिर्च आमतौर पर खाना पकाने में इस्तेमाल होती है लेकिन इसके कृषि संबंधी उपयोग भी बेहद अनमोल हैं. कैप्साइसिन, स्तनधारी जीवों जैसे हाथी के लिए एक तरह के रेपेलेंट के तौर पर काम करता है. इसमें कई कीटनाशक गुण भी पाए जाते हैं. यही कारण है कि यह घर में तैयार किए गए स्प्रे या रजिस्‍टर्ड बिजनेस प्रॉडक्‍ट्स के जरिये कुछ कीट संक्रमण को नियंत्रित करने में प्रभावी है. 

कैसे आता है काम 

  • कैप्साइसिन एफिड्स, लूपर्स, आर्मीवॉर्म्स, स्पाइडर माइट्स, थ्रिप्स, लीफमाइनर्स और व्हाइटफ्लाइज के खिलाफ प्रभावी है. 
  • इसे पौधों की सतह पर लगाने के बाद, यह कीटों को पौधे से दूर और मिट्टी की सतह की ओर जाने के लिए प्रेरित करता है. 
  • यह वयस्क कीटों में अंडे देने की सक्रियता को कम कर सकता है. 
  • कीटों के मेटाबॉलिज्म में बाधा डाल सकता है, उनके केंद्रीय तंत्रिका तंत्र को प्रभावित कर सकता है. 
  • यह कीटों की कोशिका झिल्लियों को नुकसान पहुंचाकर उनमें छेद पैदा कर सकता है. 
  • इसका मतलब है कि कैप्साइसिन केवल कीटों को भगाने वाला नहीं है, बल्कि उन्हें कमजोर और मारने वाला भी है. 
  • कैप्साइसिन केवल कीट नियंत्रण उत्पादों में एक्टिव फैक्‍टर के तौर पर इस्तेमाल किया जा सकता है. 
  • इसे आप नीम, लहसुन के तेल या सोयाबीन तेल जैसे बाकी पदार्थों के साथ मिलाया जा सकता है. 
  • कैप्साइसिन प्रॉडक्‍ट्स विभिन्न रूपों में मौजूद हैं, जैसे ग्रैन्यूलर, डस्ट और लिक्विड. 

कैसे करें प्रयोग 

  • नियमित रूप से लागू करें और कीटों के सीधे संपर्क में आए. 
  • सबसे अच्छा परिणाम पाने के लिए साप्ताहिक पत्ती छिड़काव करें. 
  • कम कीट दबाव में कम मात्रा, अधिक दबाव या घने पौधों में अधिक मात्रा और बार-बार छिड़काव. 
  • बारिश होने पर छिड़काव दोहराएं. 
  • प्रति एकड़ कम से कम दस गैलन स्प्रे आवश्यक. 

लेकिन कुछ सावधानियां हैं जरूरी 

कैप्साइसिन मधुमक्खियों के लिए जहरीला है और इसके प्रयोग में सावधानी बरतने की जरूरत है. इसे 'खतरनाक' लेबल किया गया है क्योंकि इसके स्वास्थ्य जोखिम हो सकते हैं. अगर गलती से इसे निगल लिया जाए तो यह हानिकारक या जहरीला हो सकता है.  यह त्वचा में जलन और आंखों को गंभीर तौर पर नुकसान पहुंचा सकता है. इसलिए कैप्साइसिन बेस्‍ड प्रॉडक्‍ट्स का प्रयोग करते समय लंबी आस्तीन, लंबे पैंट, दस्ताने, मोजे, जूते और चश्मा जरूर पहनना चाहिए. 

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