उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड क्षेत्र में बारिश का दौर जारी है. इस क्षेत्र में लगातार हुई मूसलाधार बारिश से चित्रकूट मंडल के चार जिलों में किसानों की हजारों एकड़ में बोई फसल बर्बाद हो गई है. आलम यह है कि किसानों को लागत निकालना मुश्किल हो रहा है. किसान आर्थिक संकट की कगार पर पहुंच गए हैं, जिसके बाद पीड़ित किसानों ने अफसरों से सर्वे कराकर मुआवजे की मांग की थी, लेकिन जिले के अफसरों ने निर्देश देकर खानापूर्ति कर लिया, जिससे किसानों का गुस्सा फूट गया और हजारों की संख्या में किसान सड़कों पर उतरने को मजबूर हो गए और जमकर प्रदर्शन किया.
बुंदेलखंड किसान यूनियन के बैनर तले कमिश्नर ऑफिस पहुंचकर किसानों ने धरना दिया और जमकर हंगामा काटा. इस दौरान किसानों भी नारेबाजी की. वहीं, सर्वे कराकर उचित मुआवजे देने की बात पर अड़ गए. कमिश्नर अजीत कुमार ने पीड़ित किसानों की बात सुनी और जल्द ही सर्वे कराकर मुआवजा देने की बात कही है. पीड़ित किसानों ने ऐलान किया है कि यदि अगले 10 दिनों में समस्या का समाधान नहीं हुआ तो रेल ट्रैक पर बड़ा आंदोलन किया जाएगा, जिसकी जिम्मेदारी प्रशासन की होगी.
आपको बता दें कि अबकी बार बुंदेलखंड में भीषण बारिश का कहर रहा है, पहाड़ो में लगातार बारिश और बांध से पानी छोड़े जाने के बाद केन और यमुना नदी ने भी जमकर तबाही मचाई थी. ऐसे में खेत तालाब बन गए थे, जिसके बाद किसानों की धान, मूंगफली, दलहनी फसलें चौपट हो गई थीं, पीड़ित किसान लगातार तहसील से लगाकर डीएम ऑफिस में शिकायत करके थक हार गए, किसानों को हर अफसर ने आश्वासन के अलावा कुछ और न दिया. जिसके बाद किसानों ने योजना बनाई और फिर बुंदेलखंड किसान यूनियन के बैनर के तले हजारों किसानों ने कमिश्नर ऑफिस में धावा बोल दिया.
किसानों ने नुकसान वाली फसलों का सर्वे कराकर जल्द मुआवजा देने की मांग की है. इसके अलावा किसानों ने खाद-बीज की उपलब्धता की मांग की. साथ ही किसानों ने समस्या का समाधान न होने पर अगले 10 दिन बाद रेल ट्रैक रोककर बड़ा आंदोलन करने की चेतावनी दी है.
चित्रकूट धाम बांदा के कमिश्नर अजीत सिंह ने कहा कि आज किसानों ने भीषण बारिश के चलते नुकसान हुई फसलों का सर्वे कराकर मुआवजा देने की मांग की है. यह मामला मेरे संज्ञान में पहले से था और मैं लगातार अफसरों को निर्देश दे रहा हूं, जल्द ही सर्वे कराकर किसानों को मुआवजा दिलाया जाएगा, मैं सभी डीएम को निर्देश जारी कर रहा हूं.