
सोनीपत में स्थित अनाज मंडी में किसानों का एक बार फिर हल्ला बोल देखने को मिला है. सरकार और अधिकारी दावा करते है कि पीआर धान की फसल एमएसपी पर खरीदी जा रही है, लेकिन मंडी में एमएसपी पर खरीद न होने के कारण ही किसान आज मंडी सचिव के कार्यालय के बाहर धरने पर बैठे गए और कहा कि जब तक धान की फसल की खरीद एमएसपी पर नहीं हो जाती, उनका धरना जारी रहेगा. सोनीपत अनाज मंडी और मंडी स्थित मंडी सचिव कार्यालय पर किसान जुट गए और दोनों जगह किसानों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. किसानों की हालत को लेकर किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने भी सरकार के वादे पर सवाल उठाए और जमकर आलोचना की.
केंद्र सरकार ने सामान्य धान की फसल के लिए 2369 और ग्रेड-ए के लिए 2389 रुपये प्रति क्विंटल एमएसपी तय किया है, लेकिन एमएसपी पर खरीद न होने से किसानों में रोष है. ऐसे में किसान अब मंडी सचिव के कार्यालय में गेट पर बैठकर धरना दे रहे हैं. किसानों का कहना है कि 22 सितंबर से पीआर धान की सरकारी खरीद शुरू की गई गई है, लेकिन मंडी में किसानों के साथ धोखा हो रहा है.
किसान 10 दिन से मंडी में धान की फसल लेकर पहुंचे हुए हैं, लेकिन खरीद नहीं हो रही है. अधिकारी बार-बार कोई न कोई बहाना बना देते हैं और अब एक मिल मालिक आया था, जो गेट पास पर अलग अलग रेट लिखकर चला गया हैं. किसानों ने आरोप लगाया कि मिल मालिक ने उपज में कटौती की बात कही है. उन्होंने कहा कि अगर ऐसे हो खरीद करनी है तो फिर सरकार दावे क्यों कर रही है?
सोनीपत के गांव हुल्लडी से अपनी फसल लेकर पहुंचे किसान ने कहा कि मंडी में कोई व्यवस्था नहीं है और न कोई मशीन लगाई गई है. मिल मालिक हाथ में लेकर रेट तय कर रहे हैं और मनमानी से फसल खरीद रहे हैं. किसानों का कहना हैं कि जब तक हमारी मांग पूरी नहीं होगी वे मंडी सचिव के कार्यालय में धरने पर बैठे रहेंगे.
मामले को लेकर किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने कहा कि सरकार ने कहा था कि 22 सितंबर से धान की खरीद करेंगे, लेकिन इतने दिन बाद भी खरीद नहीं हो रही है. अगर खरीद हो भी रही है तो किसानों को एमएसपी नहीं मिल रहा है. किसानों की उपज में से 5 से लेकर 15 किलो तक कटौती की जा रही है. इस दौरान उन्होंने सीएम नायब सिंह सैनी पर भी हमला बोला. उन्होंने कहा कि सीएम नायब सैनी कहा करते हैं कि एमएसपी था, एमएसपी है, एमएसपी रहेगी, लेकिन सच्चाई यह है कि किसानों की फसल में से 15 किलो तक कटौती की जा रही है.