महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे ने गुरुवार को महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में अकेले उतरने की घोषणा की है. शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे के चचेरे भाई राज ठाकरे का ऐलान भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) समेत पूरी महायुति गठबंधन की टेंशन बढ़ा सकता है. महाराष्ट्र में अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव होने हैं और विधानसभा में कुल 288 सीटें हैं. गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में राज ठाकरे की पार्टी ने बीजेपी को समर्थन दिया था. अब जबकि पार्टी अकेले मैदान में उतरने की तैयारी कर रही है तो बाकी दलों की चुनौतियां बढ़ सकती हैं.
मनसे मुखिया राज ठाकरे ने कहा, 'विधानसभा चुनाव में 200 से 250 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे.' मनसे के ऐलान पर प्रतिक्रिया देते हुए एनसीपी (शरद पवार) के नेता जितेंद्र आव्हाड ने कहा है कि यहां तक कि उनके परिवार के सदस्य भी पक्के तौर पर नहीं कह सकते कि राज ठाकरे कब अपनी भूमिका बदलेंगे. वह बहुत सारी फिल्में देखते हैं. इसलिए, वह सभी भूमिकाएं निभाते हैं. उन्हें अलग-अलग भूमिकाएं निभाने की आदत है. पिछले महीने भी एमएनएस नेताओं की बैठक में राज ठाकरे ने ऐलान किया था कि पार्टी 200 सीटों पर चुनाव लड़ेगी.
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इससे पहले, मनसे नेता प्रकाश महाजन ने सोमवार को संकेत दिया था कि उनकी पार्टी राज्य विधानसभा चुनाव में 200-225 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है, जो इस साल अक्टूबर में होने की संभावना है. महाजन ने एक न्यूज चैनल से कहा कि यह निर्णय मनसे प्रमुख राज ठाकरे ने लिया है और पार्टी कार्यकर्ता इसके लिए पूरी तरह तैयार हैं. उन्होंने कहा कि मनसे जाति आधारित आरक्षण के खिलाफ है. पार्टी का मानना है कि इस तरह के सभी फायदे आर्थिक मानदंडों पर आधारित होने चाहिए.
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गौरतलब है कि मनसे ने हाल ही में खत्म हुए लोकसभा चुनावों में राज्य में सत्तारूढ़ महायुति को समर्थन दिया था. इसमें बीजेपी, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना और उपमुख्यमंत्री अजित पवार के नेतृत्व वाली एनसीपी शामिल है. लोकसभा चुनाव के दौरान एमएनएस और बीजेपी के बीच सीटों को लेकर लंबी चर्चा हुई थी. इसमें एमएनएस ने दो सीटों की मांग की थी, जबकि बीजेपी एक सीट देने को तैयार थी. आखिरी में सहमति नहीं बन पाई और एमएनएस ने लोकसभा चुनाव नहीं लड़ने का निर्णय लिया. ऐसे में अब राज ठाकरे की नजर विधानसभा चुनाव पर है और वह पूरी तैयारी के साथ मैदान में उतरना चाहते हैं.
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