देश के किसानों के लिए पूरी तरह से समर्पित डिजिटल चैनल किसान तक मंगलवार को लॉन्च हो गया. नई दिल्ली में आयोजित एक कार्यक्रम में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र तोमर ने किसान तक यू-ट्यूब चैनल का उद्घाटन किया. उद्घाटन कार्यक्रम में केंद्रीय मत्स्यपालन, पशुपालन और डेयरी मंत्री परषोत्तम रूपाला भी मौजूद रहे जिन्होंने किसान तक वेबसाइट का उद्घाटन किया. तोमर और रूपाला समेत कई गणमान्य कार्यक्रम में मौजूद रहे. 'किसान तक' हिंदी मीडिया जगत का ऐसा ऑनलाइन चैनल है जो किसानों के लिए पूर्ण रूप से समर्पित है. इसकी हर एक सामग्री (content) खेती-किसानी और किसानों के कल्याण से जुड़ी है. 'किसान तक' टेक्स्ट के साथ-साथ यू-ट्यूब पर भी उपलब्ध है.
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'किसान तक समिट' का प्रेजेंटिंग स्पॉन्सर एसएमएल है जबकि ग्रोपिटल, धानुका, राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम (NCDC) और जीआईसी आरई (GIC Re) को-स्पॉन्सर यानी कि एसोसिएट स्पॉन्सर हैं.
केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने देश की कृषि आधारित अर्थव्यवस्था को और मजबूत बनाने के लिए वेयर हाऊसेस, कोल्ड स्टोरेज जैसी ढांचागत सुविधाओं को गांव-गांव तक पहुंचाने की जरूरत पर बल देते हुए कहा है कि इस तरह की सुविधाओं से किसानों की समृद्धि का मार्ग प्रशस्त होगा, वहीं किसान की ताकत बढ़ने के साथ ही देश आत्मनिर्भर बनेगा. तोमर ने यह बात इंडिया टुडे समूह के डिजिटल प्लेटफार्म 'किसान तक' यू ट्यूब चैनल का शुभारंभ करते हुए कही.
किसान तक समिट में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री ने कहा कि डिजिटल प्लेटफॉर्म 'किसान तक' किसान कल्याण का माध्यम बनेगा. तोमर ने किसान तक समिट 2023 में कहा कि पीएम मोदी किसानों की समस्याओं के समाधान की दिशा में निरंतर प्रयत्नशील रहते हैं.
कृषि मंत्री ने कहा, अगर छोटे किसान की ताकन नहीं बढ़ेगी तो देश की अर्थव्यवस्था की ताकत भी नहीं बढ़ेगी क्योंकि छोटे किसानों की हिस्सेदारी 85 प्रतिशत तक है. कोरोना संकट में भी किसानों ने देश की अर्थव्यवस्था को मजबूती दी. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि छोटे किसानों को ताकतवर बनाने के लिए एफपीओ को टूल बनाया जा रहा है जिससे किसान समूह में खेती कर खेती को आसान बना सकेंगे. किसान समूह में खेती करेंगे तो क्रॉप पैटर्न से लेकर तकनीक पर विचार करेंगे.
तोमर ने कहा कि क्लस्टर में खेती करने से किसान की बाजार में ताकत बढ़ेगी. उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र में निजी क्षेत्र की भागीदारी को बढ़ाना होगा. बीते सालों में कृषि को छोड़कर सभी क्षेत्रों निजी निवेश को बढ़ाने के हर संभव उपाय किए गए. तोमर ने कहा कि पिछली सरकारों ने कृषि क्षेत्र में निजी निवेश के लिए दरवाजे खोलने के समुचित उपाय नहीं किए गए. अब पशुपालन क्षेत्र में 15 हजार करोड़ रुपये, हर्बल खेती के लिए 4 हजार करोड़ रुपये और खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र सहित समूचे कृषि क्षेत्र में कुल 1.5 लाख करोड़ रुपये के निवेश के उपाय किए गए.
खेती-किसानी और किसानों की आय बढ़ाने में कौन-कौन से फैक्टर अहम भूमिका निभा सकते हैं, इसकी डिटेल जानकारी टेक्स्ट और वीडियो फॉर्मेट में आसानी से पाई जा सकती है. पाठकों की सुविधाओं का खयाल रखते हुए 'किसान' तक बेब स्टोरी भी प्रकाशित करता है. वेब स्टोरी के माध्यम से कम शब्दों में और तस्वीरों के जरिये खेती-किसानी की संपूर्ण जानकारी ली जा सकती है.
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खेती-बाड़ी में सफलता की अपार संभावनाएं हैं जिसे देखते हुए 'किसान तक' एक से बढ़कर एक सक्सेस स्टोरी प्रकाशित करता है. सक्सेस स्टोरी के माध्यम से यह जाना जा सकता है कि हमारे किसान मेहनत से लेकर खेती से मुनाफा कमाने तक में कतई पीछे नहीं हैं. सक्सेस स्टोरी में इस बात पर फोकस रहता है कि कम संसाधन में कोई किसान अधिक से अधिक कमाई कैसे करे. सक्सेस स्टोरी का सेक्शन आधुनिक खेती पर भी फोकस करता है जिसकी मदद से हाल के वर्षों में कामयाबी के कई द्वार खुले हैं.
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'किसान तक' का अगला महत्वपूर्ण सेक्शन 'टिप्स और ट्रिक्स' है. आप इसे आम भाषा में नवाचार या इनोवेशन भी बोल सकते हैं. 'टिप्स और ट्रिक्स' सेक्शन में ऐसी खबरें प्रकाशित की जाती हैं जिसमें कोई किसान 'जुगाड़ टेक्नोलॉजी' से चुटकी में बड़ा काम निपटा सकता है. अति आधुनिक तकनीक के माध्यम से ही खेती की जाए, ऐसा जरूरी नहीं. भारत के कोने-कोने में असंख्य किसान ऐसे हैं, जो लोहे-लक्कड़ को जोड़कर कारगर कृषि मशीन उपकरण बना लेते हैं और खेती में चार-चांद लगाते हैं. 'टिप्स और ट्रिक्स' सेक्शन इस तरह के किसानों को समर्पित है.
इसी तरह का एक सेक्शन 'खाद-बीज' है जहां किसान हर तरह के खाद और बीज की उपलब्धता, नए-नए खोज, कम खर्च में अधिक खेती आदि की जानकारी ले सकते हैं. यह सेक्शन ऑर्गेनिक खाद पर अधिक फोकस करता है ताकि किसानों को प्राकृतिक खेती के लिए जागरूक किया जाए.
आज देश में पशुपालन किसानों की कमाई का सबसे बड़ा जरिया बन कर उभरा है. यही वजह है कि सरकार भी इस क्षेत्र को सबसे अधिक तवज्जो दे रही है. पशुपालन सेक्शन में हम ऐसे पशुधन पर फोकस करते हैं जिसपर आम किसानों का ध्यान जल्दी नहीं जाता. इसी सेक्शन में डेयरी सेक्टर को भी रखा गया है ताकि दूध से जुड़े हर व्यापार और डेयरी फार्मिंग की ए-टू-जेड जानकारी किसानों को हासिल हो सके.
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किसानों को खेती-बाड़ी के बारे में नई-नई और अपडेट जानकारी मिलती रहे, इसके लिए 'किसान तक' नॉलेज सेक्शन चलाता है. इसमें खेती से जुड़े मुद्दों पर विस्तार से जानकारी दी जाती है. इसके अलावा किसानों को तकनीक और फसलों के बारे में जानकारी देने के लिए अलग से सेक्शन बनाए गए हैं. सबसे खास बात ये कि इन सभी मुद्दों पर 'किसान तक' आपको वीडियो भी उपलब्ध कराता है जिसे यहां क्लिक (https://www.youtube.com/@kisantakofficial) कर देख सकते हैं.
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