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रेवाड़ी में ओलावृष्टि से 50 फीसदी से अधिक गेहूं की फसल बर्बाद, किसानों ने की मुआवजे की मांग

रेवाड़ी में ओलावृष्टि से 50 फीसदी से अधिक गेहूं की फसल बर्बाद, किसानों ने की मुआवजे की मांग

किसानों ने सरकार को अल्टीमेटम भी दे दिया. किसानों ने कहा है कि यदि तीन दिन में गिरदावरी का काम पूरा नहीं होता है, तो सचिवालय के सामने धरने पर बैठ जाएंगे. वहीं दूसरी ओर सीटीएम लोकेश ने किसानों को आश्वासन दिया कि जल्द ही जिले में ओलावर्ष्टि से बर्बाद हुई फसलों की गिरदावरी करवाकर उन्हें उचित मुआवजा दिलवाया जाएगा.

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रेवाड़ी में बारिश के साथ ओलावृष्टि. (सांकेतिक फोटो) रेवाड़ी में बारिश के साथ ओलावृष्टि. (सांकेतिक फोटो)

हरियाणा के रेवाड़ी जिले में शुक्रवार को बारिश के साथ जमकर ओलावृष्टि हुई. इससे खेतों में लगी रबी फसलों को बहुत अधिक नुकसान पहुंचा है. लेकिन सबसे अधिक गेहूं की फसल की बर्बादी हुई है. इससे किसानों को काफी अधिक आर्थिक नुकसान उठाना पड़ा है. कहा जा रहा है कि रेवाड़ी में ओलावृष्टि से 50 से 100 फीसदी के बीच गेहूं की फसल नष्ट हुई है. ऐसे में किसानों ने सरकार से मुआवजे की मांग की है.

किसानों को कहना है कि सरसों बेचने के लिए उन्हें पहले से ही काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था. मंडी के बाहर कई घंटों तक ट्रैक्टर-ट्रोली के साथ कतार में खड़े होकर अपनी बारी का इंतजार करना पड़ रहा है. अब ओलावृष्टि ने ऊपर से और परेशानी बढ़ा दी है. ऐसे में शनिवार सुबह जिले के सैकड़ों किसान जिला सचिवालय पहुंचे, जहां उन्होंने सीटीएम के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर प्रति एकड़ 60 हजार रुपये मुआवजे की मांग की है. साथ ही किसानों ने तीन दिन के  अंदर गिरदावरी करवाने करना को कहा है.

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किसानों ने दिया अल्टीमेटम

खास बात यह है कि इस दौरान किसानों ने सरकार को अल्टीमेटम भी दे दिया. किसानों ने कहा है कि यदि तीन दिन में गिरदावरी का काम पूरा नहीं होता है, तो सचिवालय के सामने धरने पर बैठ जाएंगे. वहीं दूसरी ओर सीटीएम लोकेश ने किसानों को आश्वासन दिया कि जल्द ही जिले में ओलावर्ष्टि से बर्बाद हुई फसलों की गिरदावरी करवाकर उन्हें उचित मुआवजा दिलवाया जाएगा.

1 अप्रैल से गेहूं की खरीद

वहीं, आज सुबह ही खबर सामने आई थी कि हरियाणा में रबी सीजन-2024 के तहत 26 मार्च से सरसों की खरीद की जा रही है और अब आगामी 1 अप्रैल से गेहूं की खरीद की जाएगी, जिसके लिए 417 मंडियां और खरीद केंद्र बनाए गए हैं. इस बार पिछले वर्ष की तुलना में गेहूं की ज्यादा आवक आने की उम्मीद है, जिसे देखते हुए फसलों की खरीद के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं.

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72 घंटे के अंदर होगा भुगतान

इस बार भी फसल खरीद का भुगतान इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से 48 से 72 घंटे के अंदर-अंदर सीधे किसानों के खातों में किया जाएगा. सरकार ने खरीद के संबंध में सभी चीजों का ब्यौरा द‍िया है. खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ सुमिता मिश्रा ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जिला उपायुक्तों, पुलिस अधीक्षकों और जिला खाद्य एवं आपूर्ति नियंत्रक (डीएफएससी) के साथ खरीद की तैयारियों के संबंध में बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए हैं.