
महाराष्ट्र के सोलापुर के किसानों के लिए एक गुड न्यूज नए साल के मौके पर आई है. जानकारी के अनुसार जो किसान फसल बीमा के लिए इंतजार कर रहे हैं, उनके खाते में जल्द ही इसकी रकम ट्रांसफर की जाएगी. एक रिपोर्ट के अनुसार महाराष्ट्र के कुल 94 लाख किसानों के लिए खरीफ की फसलों के लिए 526 करोड़ रुपये का बीमा हिस्सा दिया था. इसमें से सोलापुर जिले के ढाई लाख किसानों ने करीब 14 करोड़ रुपये दिए थे.
खरीफ सीजन में राज्य में मूंग, उड़द, सोयाबीन, मक्का, कपास, अरहर जैसी फसलें बड़े पैमाने पर उगाई जाती हैं. इसके अलावा प्याज और दूसरी फसलें भी होती हैं. राज्य सरकार के 'एक रुपया फसल बीमा योजना' बंद करने के बाद भी, फसल खराब होने पर बीमा मिलने की उम्मीद में करीब 94 लाख किसानों ने खुद बीमा कवर की रकम देकर अपनी फसलों का बीमा कराया. राज्य में करीब 50 हजार जगहों पर फसल कटाई के एक्सपेरिमेंट किए गए.
प्रयोग के बाद अनुमानित आय और वास्तविक आय की जानकारी इकट्ठा की गई है.राज्य सरकार के कृषि विभाग ने वह जानकारी केंद्र सरकार को भेज दी है. सीनियर अधिकारियों ने बताया कि केंद्र इस जानकारी को प्रोसेस कर रहा है और 20 जनवरी के बाद यह साफ हो जाएगा कि राज्य के कौन से जिले, तालुका और रेवेन्यू बोर्ड फसल बीमा के लिए योग्य हैं और किन फसलों को बीमा मुआवजा दिया जाएगा.
अधिकारियों ने यह भी बताया कि जिन किसानों ने फसल बीमा कराया है, उन सभी को फसल के नुकसान का मुआवजा नहीं मिलेगा. साथ ही कुछ तालुकाओं के कुछ मंडलों के किसान और कुछ जिलों के पूरे तालुका के किसान फसल बीमा के लिए योग्य होंगे. फसल कटाई के बाद, अनुमानित इनकम, थ्रेशहोल्ड इनकम और असल इनकम की जानकारी अब केंद्र सरकार को भेज दी गई है. कार्रवाई चल रही है और योग्य किसानों को जनवरी के आखिर तक फसल बीमा की रकम मिल जाएगी.
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