पंजाब के खनौरी बॉर्डर पर भारी संख्या में किसानों का जत्थे पहुंच रहे हैं. किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल 40 दिन से आमरण अनशन पर हैं और उनकी हालत नाजुक बनी हुई है. एसकेएम नॉन पॉलिटिकल और किसान मजदूर मोर्चा ने आज 4 जनवरी को खनौरी, शंभू समेत सभी मोर्चों पर किसान पंचायत बुलाई है. इसके लिए बड़ी संख्या में किसान खनौरी मोर्चे पर जुट रहे हैं. किसान नेताओं ने कहा कि आंदोलन पहले की तरह ही मजबूत है और वह अपने हक के लिए सरकार से बातचीत करना चाहते हैं. मुद्दों का समाधान केवल बातचीत से हो सकता है. इसलिए केंद्र सरकार उनसे बातचीत करे.
40 दिन से भूख हड़ताल कर रहे किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल बीते दिन अपने वीडियो संदेश में कहा कि मैं इस लड़ाई को लड़ रहे उन सभी किसानों का 4 तारीख को दर्शन करना चाहता हूं. खनौरी बॉर्डर पर आकर सभी किसान दर्शन दें. ऐसे में मैं उन सभी लोगों का आभारी रहूंगा. इसके बाद से आज पंजाब, हरियाणा, राजस्थान समेत कई राज्यों से किसान खनौरी बॉर्डर पहुंच रहे हैं. जबकि, अन्य मोर्चों पर भी किसान जुट रहे हैं.
संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक और किसान मजदूर मोर्चा के नेतृत्व में 13 फरवरी से किसान पंजाब-हरियाणा की सीमाओं पर आंदोलन कर रहे हैं. किसानों की मांगें नहीं माने जाने पर बीते 40 दिनों से किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल आमरण अनशन पर हैं. किसान नेता की बिगड़ती सेहत और आंदोलन पर मंथन के लिए आज 4 जनवरी को खनौरी बॉर्डर पर भारी संख्या में किसानों के जत्थे पहुंच रहे हैं.
किसान नेता और बीकेयू प्रधान गुरमीत किसान ने कहा कि खनौरी बॉर्डर पर होने वाली महा पंचायत में अंबाला के शंभू बॉर्डर और आसपास के इलाकों से भारी संख्या में किसान रवाना होने शुरू हो गए हैं. किसान नेता डल्लेवाल की बिगड़ती तबियत को लेकर किसान काफी चिंतित हैं. लिहाजा किसानों ने खनोरी बॉर्डर पर जाना शुरू कर दिया है. मीडिया से बात करते हुए किसानों ने कहा की आज कोई बड़ा फैसला लिया जा सकता है. किसानों ने पंजाब सरकार पर भी निशाना साधा.
खनौरी बॉर्डर पर मौजूद किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने कहा कि किसानों के हक के लिए जगजीत सिंह डल्लेवाल पिछले 40 दिनों से आमरण अनशन पर बैठे हैं. हमारे मुद्दे केंद्र सरकार से हैं, किसी समिति से नहीं. हम चाहते हैं कि सरकार हमसे बात करे. उन्होंने कहा कि सरकार हमें जहां भी बुलाएगी, हम जाएंगे. मुद्दों का समाधान केवल बातचीत से ही हो सकता है. उन्होंने कहा कि आंदोलन हमेशा की तरह मजबूत है. सभी किसान हमारे साथ हैं.
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