मनरेगा के तहत मजदूरी कर रहे श्रमिकों के लिए सरकार ने बड़ा तोहफा दिया है. मनरेगा के तहत काम करने वाले मजदूरों को अब पहले से ज्यादा पैसा मिलेगा. महंगाई को देखते हुए मनरेगा के तहत काम कर रहे श्रमिकों के लिए यह राहत की खबर है. इस नई मजदूरी दर का सबसे ज्यादा फायदा हरियाणा के मजदूरों को होने वाला है क्योंकि मजदूरी में इस बढ़ोतरी के बाद हरियाणा के मजदूरों को प्रतिदिन 357 रुपये मिलेंगे. आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने वेतन में यह बढ़ोतरी वित्त वर्ष 2023-24 के लिए की है.
जिसके लाभार्थी राज्यों में बिहार, हरियाणा, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, कर्नाटक, गोवा, मेघालय, मणिपुर आदि शामिल हैं. कुछ राज्यों में मजदूरी कम बढ़ी है तो कुछ राज्यों में ज्यादा बढ़ी है. कुछ राज्यों में मजदूरी में केवल 7 रुपये और कुछ राज्यों में 26 रुपये तक बढ़ाई गई है. आपको बता दें कि मजदूरी की ये नई दरें अगले महीने अप्रैल से लागू की जाएगी. ऐसे में आइए जानते हैं क्या है मनरेगा और कैसे किसानों को मिलता है इसका लाभ:-
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना यानी मनरेगा की शुरुआत वर्ष 2005 में हुई थी. इस योजना को लागू करने के प्रयास 2 फरवरी 2006 को शुरू हुए. यह एक तरह की रोजगार गारंटी योजना है जिसका उद्देश्य भारत के मजदूरों को न्यूनतम रोजगार उपलब्ध कराना है. प्रारंभ में इसे नरेगा (नरेगा) कहा जाता था. लेकिन वर्ष 2009 में गांधी जयंती के अवसर पर इस योजना का नाम बदलकर महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम कर दिया गया.
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वृद्धि को प्रतिशत की दृष्टि से देखा जाए तो इस वृद्धि का सबसे अधिक लाभ राजस्थान के श्रमिकों को होगा. पिछले साल राजस्थान में मजदूरी दर महज 231 रुपये थी. अब इस नई मजदूरी वृद्धि के साथ, राजस्थान की मनरेगा मजदूरी दर 255 रुपये प्रति दिन हो जाएगी, जिसका अर्थ है कि राजस्थान के मजदूरों की मजदूरी में 10.38% की वृद्धि हुई है. बिहार और झारखंड के श्रमिकों को भी वेतन वृद्धि से लाभ हुआ है, इन दोनों राज्यों में पिछले वर्ष की तुलना में मजदूरी में 8% तक की वृद्धि हुई है. बिहार और झारखंड के श्रमिकों की मजदूरी पहले 210 रुपये प्रतिदिन थी. वेतन वृद्धि के बाद अब मजदूरों को 18 रुपये अतिरिक्त लाभ मिलेगा.
छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश राज्यों के मजदूरों को महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना यानी मनरेगा के तहत की गई मजदूरी वृद्धि का सबसे कम लाभ मिलेगा. प्रतिशत वृद्धि के लिहाज से इन दोनों राज्यों के कर्मचारियों को सबसे कम बढ़ोतरी दी गई है. इस राज्य में मनरेगा मजदूरी 204 रुपये प्रतिदिन निर्धारित की गई है. वहीं सबसे ज्यादा मजदूरी वाले राज्यों में कर्नाटक, गोवा, मेघालय और मणिपुर शामिल हैं. कुछ राज्यों में वेतन में अधिक वृद्धि और कुछ राज्यों में कम वृद्धि के कारण कुछ कर्मचारी सरकार के इस निर्णय से असंतुष्ट भी हैं.