किसानों ने आज फिर नोएडा में प्रदर्शन किया. सैकड़ों किसानों ने आज नोएडा अथॉरिटी के गेट पर ताला डालकर उसके सामने धरना दिया और नारेबाजी की. अथॉरिटी के अफसरों पर कई गंभीर आरोप लगाए. भारतीय किसान परिषद के नेतृत्वा में किसान लगातार नोएडा में प्रदर्शन कर रहे हैं. नोएडा में ही एनटीपीसी ऑफिस के गेट पर किसानों का लगातार धरना चल रहा है. एक दिन पहले ही मंगलवार को किसानों ने नोएडा में डीएम आवास का घेराव किया था. वहीं कुछ दिन पहले एनटीपीसी के ऑफिस में भी तालाबंदी की कोशिश की गई थी.
किसानों का आरोप है कि उन्हें एक समान मुआवजा नहीं दिया जा रहा है. वहीं एनटीपीसी द्वारा जमीन लेने के बाद मुआवजा की शर्तों के मुताबिक वादाखिलाफी की जा रही है. नोएडा के दर्जनों गांवों के लोगों का आरोप है कि मुआवजे की मांग करते-करते 25 से 30 साल हो चुके हैं.
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भारतीय किसान परिषद के संस्था पक सुखबीर खलीफा के नेतृत्वे में मंगलवार को सैकड़ों किसानों ने नोएडा स्टेडियम से चलकर एक किमी की दूरी पर डीएम आवास का घेराव किया था. इसी दौरान डीएम संग हुई वार्ता में मांगों का कोई हल नहीं निकलता देख किसानों ने गुरुवार को नोएडा अथॉरिटी के गेट पर तालाबंदी का ऐलान कर दिया था. तय रणनीति के तहत आज दोपहर 12 बजे से ही किसान नोएडा अथॉरिटी के सामने इकट्ठा होना शुरू हो गए थे. दो बजे तक सैकड़ों किसानों ने अथॉरिटी के गेट के सामने धरना देना शुरू कर दिया.
नारेबाजी शुरू हो गई. किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए बड़ी संख्या में पुलिस बल भी मौजूद था. अथॉरिटी के गेट के पास पुलिस ने बैरीकेटिंग कर दी थी. बावजूद इसके साढ़े तीन बजे सबसे पहले कुछ उत्साही युवा लोहे की बैरीकेटिंग पर चढ़ गए. एक महिला किसान भी बैरीकेटिंग पर चढ़ गेट के पास पहुंच गई. सुखबीर खलीफा भी बैरीकेटिंग पर चढ़कर गेट पर ताला डालने पहुंच गए. किसानों ने अथॉरिटी के गेट पर दो ताले डाल दिए.
किसानों की सबसे बड़ी मांग 10 फीसद डवलप जमीन को लेकर है. नियम है कि किसानों की जितनी जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा उसकी 10 फीसद डवलप जमीन किसानों को दी जाएगी. लेकिन 20 से 25 साल गुजर जाने के बाद भी किसानों को 10 फीसद जमीन नहीं दी गई है. इतना ही नहीं एनटीपीसी ने तो वादा खिलाफी की है. जमीन लेने के बाद जो सुविधाएं देने की बात कही थी वो आज 30 साल बाद भी नहीं मिली हैं.
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गौरतलब रहे एनटीपीसी से पीड़ित गांव के लोग बीते साल दिसम्बर की 18 तारीख से सेक्टर 24, नोएडा में एनटीपीसी दफ्तर के बार सर्दी में धरना दे रहे हैं. छह जनवरी को एनटीपीसी के दफ्तर में तालाबंदी की कोशिश की गई थी. हालांकि इस घटना के बाद पीड़ित किसानों को सात दिन का वक्त दिया गया था. लेकिन कोई हल नहीं निकलने पर पीड़ित किसान लगातार धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं.