SKM Protest: किसानों का 'चंडीगढ़ कूच' रद्द, पुलिस एक्शन के बाद SKM ने लिया फैसला

SKM Protest: किसानों का 'चंडीगढ़ कूच' रद्द, पुलिस एक्शन के बाद SKM ने लिया फैसला

जोगिंदर सिंह उग्राहां ने कहा कि पुलिस ने उन्हें सुबह हिरासत में लिया था, वह पुलिस का काम था, हमारा काम विरोध करना था. मुझे 12 बजे हिरासत में लिया गया और 6 बजे रिहा किया गया. पंजाब से धरने वापस ले लिए गए हैं. बाहर बैठे संगठनों ने निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि कल 12 बजे तक सभी किसानों को रिहा कर दिया जाएगा.

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किसानों का 'चंडीगढ़ कूच' रद्द, पुलिस एक्शन के बाद SKM ने लिया फैसलापुलिस ने कई किसानों को हिरासत में लिया

किसानों का चंडीगढ़ कूच का कार्यक्रम रद्द कर दिया गया है. आज किसान चंडीगढ़ में धरने के लिए अपने-अपने मोर्चे के साथ निकले थे, पुलिस ने उन्हें आगे नहीं बढ़ने दिया. इसके बाद किसानों ने चंडीगढ़ कूच का कार्यक्रम रद्द करने की घोषणा की. उधर भारतीय किसान यूनियन एकता उग्राहां के अध्यक्ष जोगिंदर सिंह उग्राहां को पुलिस ने रिहा कर दिया. उसके बाद उग्राहां सड़क पर किसानों के लगाए गए मोर्चे पर पहुंचे. 

जोगिंदर सिंह उग्राहां ने कहा कि पुलिस ने उन्हें सुबह हिरासत में लिया था, वह पुलिस का काम था, हमारा काम विरोध करना था. मुझे 12 बजे हिरासत में लिया गया और 6 बजे रिहा किया गया. पंजाब से धरने वापस ले लिए गए हैं. बाहर बैठे संगठनों ने निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि कल 12 बजे तक सभी किसानों को रिहा कर दिया जाएगा. चंडीगढ़ जाने का फैसला एसकेएम नेताओं के साथ बैठक के बाद लिया जाएगा. फिलहाल बैठक के बाद ही तय होगा कि चंडीगढ़ धरना दिया जाएगा या नहीं.

किसानों को पुलिस ने रोका

पंजाब पुलिस ने बुधवार को किसानों को चंडीगढ़ आने से रोक दिया. इसके लिए राज्य के अलग-अलग हिस्सों में एंट्री पॉइंट्स पर सुरक्षा बढ़ाई  गई थी. साथ ही कई चेक पॉइंट्स भी बनाए गए थे. चंडीगढ़ के बॉर्डर जहां-जहां दूसरे राज्यों से लगते हैं, पुलिस ने वहां सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी थी. यह विरोध प्रदर्शन संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) ने बुलाई थी जिसमें चंडीगढ़ में एक हफ्ते के धरने का प्लान था.

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एसकेएम 30 से अधिक किसान संगठनों का यूनियन है जो राज्य सरकार की ओर से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर छह फसलों की खरीद समेत किसानों की अलग-अलग मांगों को लेकर चंडीगढ़ में धरना देने का आह्वान किया था. बुधवार सुबह ट्रैक्टर-ट्रॉलियों और अन्य गाड़ियों में चंडीगढ़ के लिए निकले किसानों को पंजाब पुलिस ने हाईवे और अन्य सड़कों पर कई जगहों पर रोक दिया.

आप सरकार की निंदा

संयुक्त किसान मोर्चा ने पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार की इस बात के लिए कड़ी निंदा की कि उसने किसानों को अपनी मांगों के समर्थन में आवाज उठाने के लिए चंडीगढ़ जाने से रोका. एसकेएम नेताओं ने दावा किया कि चंडीगढ़ जाते समय कई किसानों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया, जबकि कई अन्य ने वहीं विरोध प्रदर्शन करना शुरू कर दिया, जहां उन्हें रोका गया था.

पुलिस उप महानिरीक्षक (रोपड़ रेंज) हरचरण सिंह भुल्लर ने कहा कि प्रदर्शनकारी किसानों को किसी भी कीमत पर चंडीगढ़ नहीं पहुंचने दिया जाएगा. भुल्लर ने कहा, "जहां भी कोई किसान सड़कों पर निकला, उस क्षेत्र की पुलिस ने उन्हें वहीं रोक दिया. वे वहां शांतिपूर्वक बैठे थे." उन्होंने कहा कि पंजाब में स्थिति पूरी तरह से शांतिपूर्ण है. डीआईजी ने कहा कि कुछ किसानों को हिरासत में लिया गया है. उन्होंने कहा कि पंजाब पुलिस और चंडीगढ़ पुलिस के बीच अच्छा तालमेल है.

हिरासत में किसान नेता

किसानों के अनुसार, एसकेएम नेता जोगिंदर सिंह उग्राहां को संगरूर में हिरासत में लिया गया. संगरूर के घराचोन इलाके में किसानों को चंडीगढ़ जाने से रोकने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया. किसानों को चंडीगढ़ जाने से रोकने के लिए बैरिकेड्स लगाए गए और रेत से लदे ट्रक भी खड़े किए गए. 

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मोगा में क्रांतिकारी किसान यूनियन के जिला अध्यक्ष जतिंदर सिंह ने कहा कि चंडीगढ़ जाते समय उन्हें अजीतवाल में पुलिस ने रोक लिया. उन्होंने दावा किया कि उनमें से कुछ को पुलिस ने हिरासत में लिया है. प्रदर्शनकारियों ने चंडीगढ़ जाने की अनुमति न देने पर भगवंत मान सरकार के खिलाफ नारे भी लगाए. किसान नेता उग्राहां ने एक वीडियो मैसेज में किसानों के खिलाफ पुलिस कार्रवाई की निंदा की. उन्होंने कहा कि उनकी मांगें पंजाब से जुड़ी हैं.

 

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