बिहार में किसानों की आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए सरकार और कृषि विभाग की ओर से कृषि रोड मैप चलाया जा रहा है ताकि किसान कम लागत में अच्छी खेती कर सकें. इसके लिए कृषि विभाग ने कृषि यंत्रों पर सब्सिडी की योजना शुरू की है. हर साल कृषि प्रदर्शनी मेला और अन्य माध्यमों से निर्धारित अवधि में किसानों को सब्सिडी देने की योजना को लागू किया जाता है. इसके जरिये किसान सब्सिडी रेट पर कृषि यंत्रों की खरीदारी कर सकते हैं. चालू वित्तीय वर्ष में 607 किसानों ने इस योजना का लाभ लिया है.
विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक कृषि यंत्र के लिए किसान सबसे पहले ऑनलाइन आवेदन करते हैं. ऑनलाइन आवेदन करने के बाद किसानों को कृषि यंत्र खरीदने की मंजूरी दी जाती है.
सब्सिडी पर कृषि यंत्र खरीदने के लिए किसानों को परमिट दिया जाता है. परमिट के आधार पर किसान सब्सिडी रेट पर कृषि यंत्रों की खरीदारी करते हैं. उस यंत्र के लिए सब्सिडी की शेष राशि का भुगतान विभाग द्वारा संबंधित कंपनी के खाते में किया जाता है. इसके लिए बिहार में खास योजना चलाई जा रही है जिसका नाम है सबमिशन ऑफ एग्रीकल्चर मेकेनाइजेशन यानी कि SMAM. इस योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए अब तक 120 किसानों को परमिट दिया गया है. इसमें से 97 किसानों ने यंत्र खरीद लिया है या प्रक्रिया अपनाई जा रही है. इसमें अलौली प्रखंड में 33, बेलदौर में मात्र तीन, चौथम प्रखंड में 11, गोगरी में 15, खगड़िया प्रखंड में 17, मानसी में 12 और परवत्ता प्रखंड में सात किसानों ने खुद का का कृषि यंत्र खरीदा है.
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किसानों के लिए सब्सिडी की अनुमानित लागत 41 लाख 99 हजार रुपये है. इसमें से 53 कृषि यंत्रों की खरीदारी पर सब्सिडी राशि का भुगतान भी कर दिया गया है. राज्य योजना के तहत 510 किसानों को परमिट मिला है. कृषि मशीनरी की खरीद के लिए विभाग की राज्य योजना के तहत जिले के 510 किसानों को उनकी जरूरत के कृषि मशीनरी खरीदने के लिए परमिट दिया गया है. सहायक निदेशक ने बताया कि अब तक अलौली में 99, बेलदौर में 86, चौथम में 79, गोगरी में 49, खगड़िया में 88, मानसी में 24 और परबत्ता प्रखंड में 85 किसानों को परमिट मिला है. इसमें कृषि यंत्र के लिए 32 लाख 92 हजार 500 रुपये की सब्सिडी निर्धारित की गई है.
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