इन दिनों सबको मॉनसून के अपने गांव और शहर पहुंचने का इंतजार है. मॉनसून की लाइव ट्रैकिंग हर रोज आप तक पहुंच भी रही है मौसम विभाग के जरिए भी और तमाम ऐसे ऐप्स भी हैं जो घर बैठे बता देते हैं कि कब कहां कितनी बारिश होने वाली है....मगर क्या आप ये जानते हैं कि पुराने जमाने में ये सब कैसे होता था? अगर आपको लगता है कि उस जमाने में ये सब होता ही नहीं होगा तो आपको जरूर देखना चाहिए ये वीडियो क्योंकि जब सैटेलाइट, मौसम विभाग और ऐप्स नहीं थे तब भी होती थी मौसम की भविष्यवाणी, तब भी लगाए जाते थे बारिश के अनुमान और इन्हीं के आधार पर तय होती थी पूरी खेती व्यवस्था