झारखंड में किसानों को बड़ी सौगातें, एक पोर्टल पर योजनाओं की जानकारी, दूध उत्‍पादकों को एक्‍स्‍ट्रा फायदा

झारखंड में किसानों को बड़ी सौगातें, एक पोर्टल पर योजनाओं की जानकारी, दूध उत्‍पादकों को एक्‍स्‍ट्रा फायदा

झारखंड में आज मुख्‍यमंत्री ने राजधानी रांची के धुर्वा स्थित प्रभात तारा मैदान में कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग द्वारा आयोजित झारखंड कृषि ऋण माफी योजना कार्यक्रम से पौने दो लाख से ज्‍यादा किसानों की लोन माफ करने की घोषणा की. इस दौरान बिरसा किसान इंटीग्रेटेड पोर्टल लॉन्‍च किया और डेयरी उद्योग को बढ़ावा देने के लिए एक MoU भी साइन किया गया.

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झारखंड में किसानों को बड़ी सौगातें, एक पोर्टल पर योजनाओं की जानकारी, दूध उत्‍पादकों को एक्‍स्‍ट्रा फायदापौने दो लाख किसानों का लोन माफ. (फाइल फोटो)

झारखंड में विधानसभा चुनावों से पहले सरकार ने किसानों को दशहरा का तोहफा दिया है. 1,76,977 किसानों का 400.66 करोड़ रुपये का लोन माफ कर दिया गया है. सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि हमारी सरकार किसानों को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में लगातार ठोस निर्णय ले रही है. वे आज राजधानी रांची के धुर्वा स्थित प्रभात तारा मैदान में कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग द्वारा आयोजित झारखंड कृषि ऋण माफी योजना कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि यह ऋण माफी योजना कार्यक्रम नहीं है, बल्कि यह किसानों के सम्मान में महाजुटान कार्यक्रम है. इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने राज्य के 1,76,977 लाख किसानों के दो लाख रुपए तक का कर्ज माफ कर उन्हें बड़ी सौगात दी. मुख्यमंत्री ने इस कार्यक्रम में कृषि विभाग के बिरसा किसान इंटीग्रेटेड पोर्टल का भी अनावरण किया.

किसानों को दी जा रही राहत 

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज किसानों के समक्ष तरह-तरह की चुनौतियां आ रही है. किसानों की गरीबी और पूंजी के अभाव में कृषि कार्य प्रभावित हो रहा है. ऐसे में हमारी सरकार ने किसानों को राहत देने के मकसद से उनके दो लाख रुपये तक के कृषि लोन माफ करने का निर्णय लिया है, ताकि उनकी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ कर उन्हें कृषि के क्षेत्र में नई शुरुआत करने का मौका मिल सके.

मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड की 80 प्रतिशत आबादी ग्रामीण परिवेश में रहती है. यहां के किसान-मजदूर आजीविका के लिए खेती-बाड़ी पर निर्भर हैं. ऐसे में उनका खेत उनका बैंक है तो खलिहान एटीएम, लेकिन आज किसानों की स्थिति से छिपी नहीं है. वे विपरीत परिस्थितियों के बीच खेती कर रहे हैं. कई बार मौसम की मार की वजह से फसलों को काफी नुकसान पहुंचता है, जिसका खामियाजा उन्हें लंबे समय तक भुगतना पड़ता है.

डेयरी उद्योग को बढ़ावा

मुख्यमंत्री की उपस्थिति में डेयरी उद्योग को बढ़ावा देने हेतु कृषि विभाग के सचिव अबु बकर सिद्दीक तथा एनडीडीबी, आनंद, गुजरात के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर एस रघुपति ने 5 वर्षों के लिए एक एमओयू पर हस्ताक्षर किए. इस एमओयू के तहत राज्‍य के लगभग 68 हजार दूध उत्पादकों को जोड़ा जाएगा. इसके अलावा दूध उत्पादकों को दूध उत्पादन के उचित मूल्य के अलावा 5 रुपये प्रति लीटर प्रोत्साहन राशि भी दी जाएगी.

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'राज्‍य की तरह अपने अध‍िकार लड़कर लेंगे'

मुख्यमंत्री ने कहा कि तमाम खनिज और वन संसाधनों से धनी होने के बाद भी झारखंड एक पिछड़ा राज्य है. यहां के लोग आज भी गरीबों की जिंदगी जी रहे हैं. ऐसे में हमने जिस तरह लड़ कर झारखंड लिया है, उसी तरह लड़कर अपना हक और अधिकार लेंगे, ताकि यह राज्य आगे बढ़ सके.

'अपनी ताकत पहचानें किसान'

मुख्यमंत्री ने कहा की किसान इस देश और राज्य की रीढ़ हैं. जब तक किसान आत्मनिर्भर नहीं बनेंगे, तब तक यह राज्य आगे नहीं बढ़ेगा. आज किसानों को अपनी ताकत पहचानने की जरूरत है, जिस तरह हमारे किसान खेतों में कड़ी मेहनत करते हैं, उसी तरह उन्हें अपने मान-सम्मान एवं हक- अधिकार की खातिर एकजुट होकर कदम बढ़ाना होगा.

'झारखंड की मिट्टी हर खेती के लिए अनुकूल'

मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड का जो भौगोलिक परिवेश है, वह काफी अनूठा है. यहां की मिट्टी में हर तरह की फसल उपजाई जा सकती है, लेकिन इसके लिए बेहतर नीति बनाने की जरूरत है. किसानों को विभिन्न तरीकों के फसलों के उत्पादन को लेकर प्रशिक्षण देने की पहल होनी चाहिए. अगर उस दिशा में कदम बढ़ाते हैं तो निश्चित तौर पर हमको इसके सुखद परिणाम देखने को मिलेंगे.

वैकल्पिक खेती से जुड़ें किसान

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों को परंपरागत खेती के साथ वैकल्पिक खेती के लिए भी आगे होगा. इसके लिए हमारी सरकार की ओर से बिरसा हरित ग्राम योजना, दीदी बाड़ी योजना, मुख्यमंत्री पशुधन योजना, नीलांबर-पीतांबर जल समृद्धि योजना और दीदी बगिया योजना जैसी कई योजनाएं चलाई जा रही हैं. हमारी सरकार ने पहली बार कृषि पदाधिकारियों की नियुक्ति की है, ताकि वे किसानों को फसल उत्पादन की नवीन और आधुनिक तकनीक से रूबरू करा सकें.

किसान पाठशाला के जरिए किसानों को खेती-बाड़ी से जुड़ी जानकारी देने के साथ कृषि कार्य के लिए प्रशिक्षण भी मिल रहा है. इतना ही नहीं, किसानों को अंडा, दुग्ध और मछली उत्पादन के लिए लगाकर प्रेरित और प्रोत्साहित किया जा रहा है. हमारा प्रयास है कि हमारे किसानों की आय में बढ़ोतरी हो, ताकि वे राज्य को मजबूत बनाने में अपनी भागीदारी निभा सकें.

'हर वर्ग का सम्मान, दे रहे हैं अधिकार'

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार हर वर्ग और तबके के विकास और कल्याण के लिए कार्य कर रही है. हमने बुजुर्गों को पेंशन दी है तो महिलाओं को सम्मान राशि दे रहे हैं. नौजवानों को रोजगार देने का सिलसिला बड़े पैमाने पर चल रहा है. बच्चियों को पढ़ाई के प्रति प्रोत्साहित करने के लिए सावित्रीबाई फुले किशोरी योजना चल रही है.

यहां के होनहार विद्यार्थियों को पैसे की तंगी की वजह से इंजीनियर डॉक्टर और अफसर बनने का सपना अधूरा ना रहे, इसके लिए उन्हें गुरुजी क्रेडिट कार्ड योजना के तहत 15 लाख रुपए तक का शिक्षा लोन सरकार अपनी गारंटी पर दे रही है.

हमारी सरकार ने किसानों के दो लाख रुपए तक के लोन माफ कर दिए गए हैं. बकाया बिजली बिल माफ करने के साथ 200 यूनिट बिजली मुफ्त में दे रहे हैं. हमारी सरकार में आदिवासी- मूलनिवासी, दलित, महिला, नौजवान बुजुर्ग, पिछड़े और अल्पसंख्यक समेत हर किसी को आगे बढ़ने के लिए अवसर मिल रहा है.

'लोगों की मूलभूत जरूरतें पूरी कर रहे हैं'

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार पूरी संवेदनशीलता, निष्ठा, ईमानदारी और समर्पित भाव से 24 घंटे जनता की सेवा में कार्य कर रही है. आज सरकार आपके दरवाजे पर पहुंचकर आपकी समस्याओं का समाधान कर रही है. हम लोगों के रोटी, कपड़ा और मकान जैसे मूलभूत आवश्यकताओं को पूरा करने की दिशा में तेजी से कदम बढ़ा रहे हैं. इस कड़ी में 20 लाख अतिरिक्त राशन कार्ड जारी कर मुफ्त अनाज दे रहे हैं. 20 लाख गरीबों को अबुआ आवास देने की योजना शुरू की है. सोना-सोबरन धोती साड़ी योजना के तहत गरीबों को धोती, साड़ी और लूंगी दे रहे हैं. हमारी कोशिश ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती देना है, ताकि यहां के गरीब किसान मजदूर सशक्त और आत्मनिर्भर बनने की दिशा में आगे बढ़ सकें.

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