Cow dung paint: इस दिवाली गोबर के पेंट से करें घर की पुताई, मिलेगी सुख-समृद्धि, पढ़ लें पूरी रिपोर्ट

Cow dung paint: इस दिवाली गोबर के पेंट से करें घर की पुताई, मिलेगी सुख-समृद्धि, पढ़ लें पूरी रिपोर्ट

उन्नाव जनपद के नवाबगंज ब्लॉक के मखदुमपुर गौशाला में गोबर से पेंट बनाने का काम अन्नपूर्णा प्रेरणा ग्राम उद्योग बोर्ड की महिलाओं के द्वारा किया जा रहा है. समूह की महिलाएं गोबर से कई तरह के वैल्यू एडेड प्रोडक्ट तैयार करती है. अब तक 2000 लीटर से ज्यादा पेंट तैयार किया जा चुका है. वही दिवाली पर इस पेंट की अच्छी बिक्री होने की उम्मीद है क्योकि गाय के गोबर के प्रयोग से घर में लक्ष्मी का वास रहता है. 

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Cow dung paint: इस दिवाली गोबर के पेंट से करें घर की पुताई, मिलेगी सुख-समृद्धि, पढ़ लें पूरी रिपोर्टगाय के गोबर से तैयार पेंट

राजधानी लखनऊ के पड़ोसी जनपद उन्नाव में एक समूह की महिलाओं ने गोबर को लेकर कुछ ऐसा काम किया कि आज उनकी पहचान दूर तक जा पहुंची है. उन्नाव जनपद के नवाबगंज ब्लॉक के मखदुमपुर गौशाला में गोबर से पेंट बनाने की मशीन अन्नपूर्णा प्रेरणा ग्राम उद्योग बोर्ड की महिलाओं ने लगाया हैं. समूह की महिलाएं गोबर से कई तरह के वैल्यू एडेड प्रोडक्ट तैयार करती है. यहां तक कि पिछले 1 साल से गोबर से पेंट  भी तैयार किया जा रहा है. गौशाला में गाय के गोबर को अन्नपूर्णा प्रेरणा ग्रामोद्योग की महिलाएं गोबर-धन कहती है क्योंकि इसकी मदद से न सिर्फ गायों की स्थिति सुधरी है बल्कि उन्हें एक खास पहचान मिली है. अब तक 2000 लीटर से ज्यादा पेंट तैयार किया जा चुका है. वही दिवाली पर पेंट की अच्छी बिक्री होने की उम्मीद है. ऐसी मान्यता हैं जिस स्थान को नियमित गाय के गोबर से लीपा जाता है उस घर में लक्ष्मी का वास रहता है. 

गाय के गोबर से पेंट बनाकर ये महिलाएं हुई आत्मनिर्भर

उन्नाव जिले के नवाबगंज ब्लॉक के मखदुमपुर गौशाला में वर्तमान में 300 से ज्यादा गोवंश संरक्षित हैं यहां हर रोज बड़ी मात्रा में गोबर उपलब्ध होता है. इस गोबर का उपयोग करने के लिए अन्नपूर्णा प्रेरणा  ग्रामोद्योग बोर्ड की ज्योति शुक्ला ने प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के जरिए पेंट बनाने की मशीन लगाई है. इस काम में उनके साथ मिथिलेश सिंह , शीला, नीलम, जमुना, आशा काम कर रही हैं. उन्होंने राजस्थान के जयपुर में हैंडमेड पेपर इंस्टिट्यूट खादी इंडिया के माध्यम से पेंट बनाने का प्रशिक्षण भी लिया है. अब गौशाला में स्थापित मशीन के माध्यम से पूरी तरीके से पर्यावरण के अनुकूल गोबर से पेंट का निर्माण किया जा रहा है. ज्योति शुक्ला बताती है कि अब तक 2000 लीटर से ज्यादा का पेंट तैयार किया जा चुका है. सरकारी स्कूलों को इसकी बिक्री भी की जा रही है.

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ऐसे तैयार होता है गोबर से पेंट 

अन्नपूर्णा प्रेरणा ग्राम उद्योग बोर्ड की महिलाये गोबर से पेंट तैयार करने के लिए सबसे पहले 500 लीटर गोबर में 500 लीटर पानी का मिश्रण मशीन में डाला जाता है फिर 2 घंटे तक इसे अच्छे से मिलाया जाता है. इस घोल से फाइबर और तरल को डी-वाटरिंग मशीन की मदद से अलग किया जाता है. फिर इसे 100 डिग्री सेल्सियस के तापमान पर गर्म करके गोबर का अर्क बनाया जाता है जिसे पेंट  की बेस के रूप में इस्तेमाल किया जाता है. इस तैयार हुए घोल को प्रोसेस करके पेट तैयार किया जाता है.  ज्योति शुक्ला बताती है यह पेंट पूरी तरीके से हानिकारक नहीं है बल्कि इको फ्रेंडली है.

1 लीटर पेंट पर ₹70 का होता है मुनाफा

अन्नपूर्णा प्रेरणा ग्राम उद्योग बोर्ड समूह की ज्योति शुक्ला बताती है कि 1 लीटर पेंट को तैयार करने में ₹80 की लागत आती है जबकि बाजार में इसकी बिक्री 150 रुपए प्रति लीटर के भाव में होती है. अब तक उनके समूह के द्वारा 2000 लीटर से ज्यादा का पेंट तैयार किया जा चुका है. उनके समूह में काम करने वाली महिलाओं को 6 से 7000 रुपए प्रतिमाह तक बचत होती है. उनके इस काम के माध्यम से समूह की महिलाएं आत्मनिर्भर बन रही हैं.

 

 

 

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