SC का पंजाब सरकार को सख्त निर्देश- आपको पराली की आग रोकनी होगी, आपका प्रशासन जिम्मेदार है

SC का पंजाब सरकार को सख्त निर्देश- आपको पराली की आग रोकनी होगी, आपका प्रशासन जिम्मेदार है

पराली बड़ी समस्या बनती जा रही है. दिल्ली में इसका जहर चारों ओर घुल गया है. इस बाबत मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब सरकार को सख्त निर्देश दिया कि पराली जलाने पर रोक लगनी चाहिए.

पराली पर सुप्रीम कोर्ट का सख्त निर्देशपराली पर सुप्रीम कोर्ट का सख्त निर्देश
क‍िसान तक
  • New Delhi,
  • Nov 07, 2023,
  • Updated Nov 07, 2023, 1:47 PM IST

दिल्ली-NCR में वायु प्रदूषण को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब सरकार से पराली जलाने पर रोक लगाने के लिए कहा है. इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का मानना ​​है कि हर समय राजनीतिक लड़ाई नहीं हो सकती हैं. कोर्ट ने पंजाब से कहा कि “हम चाहते हैं कि यह (पराली जलाना) बंद हो. पर हम नहीं जानते कि आप यह कैसे करते हैं, यह आपका काम है. लेकिन इसे रोका जाना चाहिए और इसके लिए तुरंत कुछ करना होगा. पंजाब में इस बार पराली की घटनाएं तेजी से सामने आ रही हैं. हालांकि पिछले साल से आंकड़े कम बताए जा रहे हैं, लेकिन इस पर रोक जैसी कोई बात नहीं दिख रही.

पंजाब सरकार को पराली जलाने से रोकने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर पंजाब के पूर्व उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सुखजिंदर सिंह रंधावा ने कहा, "सुप्रीम कोर्ट को पहले दिल्ली और हरियाणा का प्रदूषण खत्म करना चाहिए. पहले केजरीवाल हमें बदनाम करते थे लेकिन अब पंजाब में उनकी सरकार है. यह भारत सरकार की जिम्मेदारी है. देश को अनाज देने वाले पंजाब के किसानों को आज बदनाम किया जा रहा है.''

ये भी पढ़ें: पपीता खाने से शरीर में बढ़ती है गर्मी, यहां सच्चाई जानें

पराली की समस्या को रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट का सुझाव है कि वैकल्पिक समाधान देने का प्रयास किया जाना चाहिए. सुप्रीम कोर्ट ने सुझाव दिया कि जरूरी सुविधाएं देने के लिए केंद्र की ओर से सब्सिडी दी जानी चाहिए. धान की खेती को चरणबद्ध तरीके से समाप्त कर उसकी जगह अन्य फसलें उगानी चाहिए और केंद्र को धान के बजाय अन्य फसलों के लिए एमएसपी देने के विकल्प तलाशने चाहिए.

सुप्रीम कोर्ट का निर्देश

सुप्रीम कोर्ट ने अपने निर्देश में कहा, दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, यूपी में फसल जलाना तुरंत बंद किया जाना चाहिए. इसके लिए पुलिस प्रमुख और मुख्य सचिव की निगरानी में SHO को जिम्मेदार बनाया जाएगा. दिल्ली में स्मॉग टावर काम करना शुरू करेंगे. SC ने इसे 'हास्यास्पद' बताया कि टावर काम नहीं कर रहे हैं. कोर्ट ने कहा कि दिल्ली को यह सुनिश्चित करना होगा कि MSW (नगरपालिका ठोस अपशिष्ट) को खुले में न जलाया जाए जैसा कि इस मौसम में होता है और इसका प्रभाव पड़ता है.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा, तत्काल कार्रवाई के लिए कल बुलाई जाएगी बैठक जिसमें कैबिनेट सचिव सभी पक्षकारों के साथ बैठक बुलाएंगे. राज्यों को पहले अदालत के निर्देशानुसार लागू किए जा रहे रंग कोड वाले स्टिकर के पहलू पर जवाब देना होगा. सुप्रीम कोर्ट ने पूछा कि क्या इस पर निगरानी रखने का कोई तरीका है कि प्रदूषण नियंत्रण के अतिरिक्त उपाय के रूप में केवल दिल्ली में रजिस्टर्ड टैक्सियों को ही चलने की अनुमति दी जाए.

ये भी पढ़ें: धनतेरस पर कब खरीदें सोना, यहां जानें शुभ मुहूर्त?

सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब के वकील के निम्नलिखित सुझावों को दर्ज करते हुए कहा कि सभी पक्षकारों को इन बातों पर तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए:

  • धान की खेती को चरणबद्ध तरीके से समाप्त किया जाएगा और उसकी जगह अन्य फसलें उगाई जाएंगी.
  • केंद्र वैकल्पिक फसलों के लिए सब्सिडी देने की संभावना तलाशेगा.
  • धान के लिए एमएसपी का दुरुपयोग होता है, क्योंकि दूसरे राज्यों से उगाया गया धान पंजाब में लाया जाता है और एमएसपी नीति के तहत बेचा जाता है.
  • धान पर गंभीरता से सोचना होगा जिससे पराली निकलती है.
  • दिल्ली में हर साल ऐसा नहीं होने दिया जा सकता.
  • SC जज का कहना है कि मैंने पंजाब से गुजरते समय फसल जलते हुए देखा.
  • सुप्रीम कोर्ट ने पूछा, जंगल की आग रोकने के लिए पंजाब सरकार ने क्या कार्रवाई की?
  • सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब से कहा- फसल जलाने का काम अभी भी हो रहा है लेकिन अचानक आप दूसरे राज्य पर बोझ डाल रहे हैं.
  • समस्या कई गुना है और कोई प्रयास नहीं है.
  • SC ने कहा, हम चाहते हैं कि आप ये सब रोकें. यह अवश्य रुकना चाहिए. हमें इसकी परवाह नहीं है कि आप यह कैसे करते हैं.
  • SC ने कहा, लोगों को इस तरह मरने नहीं दे सकते.
  • सब कुछ सुलझाने की जरूरत है, हम इस स्तर पर धैर्य खो चुके हैं.
  • SC ने पंजाब सरकार से कहा- आपको आग रोकनी होगी, आपका प्रशासन जिम्मेदार है.
  • यह 5 साल से चल रहा है. अब समय आ गया है कि कुछ टालने की बजाय कुछ किया जाए.
  • इस मामले पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है, भले ही मौसम में सुधार हो या नहीं.
  • दिल्ली में ऑड-ईवन लागू करने पर SC- क्या यह कभी सफल हुआ है? ये सभी दिखावे हैं.(सृष्टि ओझा की रिपोर्ट)

 

MORE NEWS

Read more!