दालों के दाम कंट्रोल करने के लिए सरकार का बड़ा कदम, तूर और उड़द की आपूर्ति के लिए स्टॉक लिमिट बढ़ाई 

दालों के दाम कंट्रोल करने के लिए सरकार का बड़ा कदम, तूर और उड़द की आपूर्ति के लिए स्टॉक लिमिट बढ़ाई 

त्योहारों के मद्देनजर बाजार में दाल की कीमतों में पिछले दो सप्ताह से उछाल दर्ज किया जा रहा है. चना की दाल की खुदरा कीमत 60 रुपये से बढ़कर 90 रुपये प्रति किलो तक जा पहुंची है. जबकि, उड़द की दाल 100 रुपये प्रति किलो को पार कर चुकी है और इसी तरह तूर दाल 150 रुपये से 160 रुपये प्रति किलो पर बिक रही है. दाल की कीमतें कंट्रोल करने के लिए सरकार ने बड़ा कदम उठाया है.

तुर और उड़द दाल के बड़े थोक विक्रेताओं के लिए स्टॉकहोल्डिंग सीमा बढ़ाई गई.तुर और उड़द दाल के बड़े थोक विक्रेताओं के लिए स्टॉकहोल्डिंग सीमा बढ़ाई गई.
रिजवान नूर खान
  • New Delhi,
  • Nov 08, 2023,
  • Updated Nov 08, 2023, 10:53 AM IST

त्योहारों के मद्देनजर बाजार में दाल की कीमतों में पिछले दो सप्ताह से उछाल दर्ज किया जा रहा है. चना की दाल की खुदरा कीमत 60 रुपये से बढ़कर 90 रुपये प्रति किलो तक जा पहुंची है. जबकि, उड़द की दाल 100 रुपये प्रति किलो को पार कर चुकी है और इसी तरह तूर दाल 150 रुपये से 160 रुपये प्रति किलो पर बिक रही है. मांग में बढ़त के चलते आगामी दिनों में दालों की कीमतों में उछाल की आशंका के चलते केंद्र सरकार ने आयातकों के लिए उड़द और तूर दाल की स्टॉक लिमिट को बढ़ा दिया है. इससे बाजार में दाल की आपूर्ति बढ़ेगी, जिसके नतीजे में कीमतें नियंत्रित करने में मदद मिलेगी. 

उपभोक्ता मामलों के विभाग के नोटिफिकेशन जारी किया है, जिसमें आयातकों, छोटे-बड़े खुदरा विक्रेताओं और मिल मालिकों के लिए दाल की स्टॉक लिमिट को लेकर नए निर्देश जारी किए गए हैं. नोटिफिकेशन में कहा गया है कि सरकार ने तूर दाल और उड़द दाल के थोक विक्रेताओं को दालों का स्टॉक पहले के 50 मीट्रिक टन से बढ़ाकर 200 मीट्रिक टन करने की अनुमति दी है. सरकार ने उस समयावधि को भी दोगुना कर दिया जिसके लिए आयातक क्लीयरेंस के बाद अपने स्टॉक को 60 दिनों तक रख सकते हैं.

नोटिफिकेशन के अनुसार छोटे खुदरा विक्रेताओं के लिए स्टॉक होल्डिंग कैपेसिटी में कोई बदलाव नहीं हुआ है. बता दें छोटे खुदरा विक्रेताओं के लिए स्टॉक लिमिट 5 मीट्रिक टन है. जबकि, बड़ी चेन के खुदरा विक्रेता 50 मीट्रिक टन से बढ़ाकर 200 मीट्रिक टन प्रति डिपो तक स्टॉक रख सकते हैं.यह भी कहा गया है कि मिलर्स पिछले तीन महीनों के प्रोडक्शन या वार्षिक स्थापित पूंजी का 25%, जो भी अधिक हो, स्टॉक कर सकते हैं. पहले इसे 10% तक सीमित किया गया था.

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दाल मिल एसोसिएशन ने कहा- फैसले से आपूर्ति बढ़ेगी 

ET की रिपोर्ट के अनुसार ऑल-इंडिया दाल मिल एसोसिएशन के अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर दी गई इस छूट से उद्योग को बाजार में तूर और उड़द दालों की आपूर्ति बढ़ाने में मदद मिलेगी. उन्होंने कहा कि उद्योग जगत ने अधिकारियों के साथ अपनी पिछली बैठक में इसकी सिफारिश की थी. बाजार में दाल की उपलब्धता बढ़ने से मांग को पूरा किया जा सकेगा और कीमतों को नियंत्रित करने में मदद मिलेगी. 

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60 रुपये से 90 रुपये में पहुंची चना दाल 

उधर, चना की दाल की कीमत बीते 15 दिनों के दौरान 60 रुपये प्रतिकिलो से 85-90 रुपये प्रति किलो पहुंच गई है. महंगी चना दाल से राहत देने के लिए सरकार सहकारी समितियों नेफेड और एनसीसीएफ के जरिए बाजार भाव से करीब 30 रुपये सस्ती चना दाल बेच रही है. बीते 6 नवंबर को केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने नेफेड की 100 वैन लॉन्च की हैं, जिसके जरिए 60 रुपये प्रति किलो कीमत पर चना दाल, 25 रुपये प्रति किलो में प्याज और 27.50 रुपये प्रति किलो में आटा की बिक्री की जा रही है. 

 

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