07 July 2025
By: KisanTak.in
कलाई पर कलावा या मौली बांधना सिर्फ धार्मिक परंपरा नहीं है. इसके कई व्यावहारिक और मानसिक फायदे भी होते हैं
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कलाई पर कलावा बांधने से शरीर की ऊर्जा का संतुलन बना रहता है. इससे नाड़ी तंत्र पर असर पड़ता है और पॉजिटिव एनर्जी बढ़ाती है
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हिंदू मान्यताओं के अनुसार, कलाई पर कलावा होने से नकारात्मक शक्तियों से रक्षा होती है और बुरी नजर से भी बचे रहते हैं
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कलावा बांधने के समय जो मंत्रोच्चारण किया जाता है, वह व्यक्ति के मन को शांति देता है और ध्यान की स्थिति उत्पन्न करता है
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कलाई पर बंधा हुआ कलावा धमनियों पर हल्का दबाव बनाता है, जिससे शरीर का रक्त प्रवाह बेहतर हो सकता है
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कलावा को नाड़ी बिंदु पर बंधने के कारण यह शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बेहतर करने में मदद करता है
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कलावा हमारी धार्मिक और सांस्कृतिक पहचान को मजबूत करता है. व्यक्ति को अपने मूल से जोड़े रखता है और आत्मबल को बढ़ाता है
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जब कलाई पर कलावा बांधने के साथ मंत्र बोले जाते हैं, तो यह मानसिक एकाग्रता और आत्म-नियंत्रण को बढ़ावा देता है
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कलावा बांधना कई बार किसी व्रत या विशेष पूजा की याद दिलाता है, जिससे व्यक्ति अपने संकल्पों के प्रति सजग रहता है
नोट: खबर केवल सामान्य जानकारी पर आधारित है...
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