16 June 2025
By: KisanTak.in
फसल बोने से 2-3 महीने पहले सैंपल लें. अगर खेत में हाल ही में खाद या उर्वरक डाला हो तो 15 दिन रुकें
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एक समान दिखने वाले हिस्सों से ही सैंपल लें. अगर खेत में ऊंचाई-नीचाई या मिट्टी अलग-अलग हो, तो हर हिस्से से अलग सैंपल लें
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खुरपी, बेलचा या मिट्टी खोदने वाला टूल लें. साफ बाल्टी या प्लास्टिक के थैले में नमूना रखें या फिर मिट्टी भेजने के लिए लेबल लगे सैंपल बैग भी मिल जाएंगे
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जुताई की गहराई तक मिट्टी निकालें यानी 6-8 इंच. खेत के 6-10 अलग-अलग स्थानों से मिट्टी लें
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सभी स्थानों से ली गई मिट्टी को एक बाल्टी में मिलाएं. अच्छी तरह मिलाकर फिर 500 ग्राम मिट्टी अलग रखें
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मिट्टी अगर गीली है तो इसको छाया में सुखाएं. धूप में न सुखाएं, इससे पोषक तत्व उड़ सकते हैं
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मिट्टी को प्लास्टिक या पेपर बैग में भरें. बैग पर किसान का नाम, गांव, खेत नंबर/स्थान और तारीख लिखेंं
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अब अपने खेत की मिट्टी के सैंपल को नजदीकी सरकारी कृषि विज्ञान केंद्र (KVK), कृषि विभाग या निजी लैब में सैंपल दें
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सरकारी लैब में ₹0 से ₹50 तक खर्च आएगा. कुछ राज्यों में फ्री भी है. निजी लैब में ₹100 से ₹500. रिपोर्ट मिलने में 7–15 दिन लग सकते हैं
नोट: खबर केवल सामान्य जानकारी पर आधारित है...
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