30 June 2025
By: KisanTak.in
सबसे पहला और जरूरी है कि मुर्गियों का शेड बारिश से पूरी तरह सुरक्षित और सूखा बना दें. शेड पर टिन या एस्बेस्टस की ढलानदार छत रखें
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शेड में अच्छा वेंटिलेशन होना चाहिए ताकि अंदर की नमी और बदबू बाहर निकल सके. फर्श को ईंट या ऊंचे प्लेटफॉर्म पर बनाएं ताकि बारिश का पानी अंदर न आए
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मुर्गियों के बिछावन जैसे चूरे या भूसे को रोज चेक करें. अगर ये गीला या सड़ा हो तो तुरंत बदल दें. नमी से मुर्गियों को फंगल इन्फेक्शन और पैरों की बीमारी हो सकती है
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बरसात के मौसम में चारा जल्दी सड़ता है, इसलिए उसे ढककर रखें और छोटे हिस्सों में खिलाएं. अगर दाने में फंगस या बदबू आए तो बिल्कुल न दें
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मुर्गियों के पीने के पानी में रोज पोटैशियम परमैंगनेट या हर्बल एंटीसेप्टिक डालते रहें. पानी पीने के बर्तन गीले न रखें और इन्हें रोज साफ करें
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बारिश में कई तरह की बीमारियां मुर्गियों को जकड़ सकती हैं. इसलिए समय पर इन्हें टीकाकरण और विटामिन सप्लीमेंट दें. कोई मुर्गी बीमार हो तो तुरंत अलग करें
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सबसे जरूरी चीज है कि शेड के आसपास कीचड़ और गंदगी नहीं जमने न दें. रोजाना चूना या फिनाइल से फर्श साफ करते रहें
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बारिश में ठंडक बढ़ने पर ब्रॉयलर चूजों को हीटर या बल्ब से गर्मी देना होगा. पर्याप्त रोशनी भी होनी चाहिए ताकि मुर्गियां सक्रिय रहें
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हर दिन की चारा खपत, वजन, दवा और मुर्गियों की मौत का रिकॉर्ड रखें. किसी भी असामान्य बदलाव पर तुरंत इलाज शुरू करें
नोट: खबर केवल सामान्य जानकारी पर आधारित है...
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