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प्रकृति के सम्मान के संदेश के साथ हुआ पशुपालन मेले का समापन 

प्रकृति के सम्मान के संदेश के साथ हुआ पशुपालन मेले का समापन 

इस मेले में विस्तार शिक्षा निदेशक डॉ. प्रकाश सिंह बराड़ ने कहा कि हमारे कुछ विभाग पशुधन पालन के लिए सेवाएं प्रदान कर रहे हैं, जबकि अन्य पशु उत्पादों के मूल्यवर्धन के क्षेत्र में हैं. ये पेशे उन्हें अच्छी आय अर्जित करने में मदद करते हैं.

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प्रकृति के सम्मान के संदेश के साथ हुआ पशुपालन मेले का समापन  प्रकृति के सम्मान के संदेश के साथ हुआ पशुपालन मेले का समापन 

गुरु अंगद देव वेटरनरी एंड एनिमल साइंसेज यूनिवर्सिटी, लुधियाना का दो दिवसीय पशुपालन मेला पारिस्थितिकी और प्रकृति के संबंध में अनुकूल तरीके से पशुधन पालन के संदेश के साथ संपन्न हुआ. मेले ने वैज्ञानिक तर्ज पर पशुधन व्यवसायों को विकसित करने के विचार के साथ एक विशाल सभा को आकर्षित किया. वहीं दूसरे दिन पंजाब स्टेट फार्मर्स एंड फार्मर्स वर्कर्स कमीशन के चेयरमैन डा. सुखपाल सिंह मुख्य अतिथि रहे. डॉ. रामपाल मित्तल, निदेशक, पशुपालन, एस. कुलदीप सिंह जस्सोवाल, निदेशक, डेयरी विकास विभाग और डॉ. जसबीर सिंह, निदेशक, मत्स्य पालन विभाग भी इस अवसर पर उपस्थित रहे.

डॉ. सुखपाल सिंह ने आत्महत्या करने वाले किसानों के परिवारों की दयनीय स्थिति को साझा किया. उन्होंने कहा कि स्थिति को पलटने के लिए पूरे समाज को आगे आना चाहिए. उन्होंने खुलासा किया कि नई कृषि नीति राज्य के किसानों के लिए लाभकारी नीति होगी. उन्होंने किसानों से नीति की बेहतरी के लिए अपने बहुमूल्य सुझाव देने का आग्रह किया.

किसानों को संबोधित करते हूए
किसानों को संबोधित करते हूए

इस मेले में विस्तार शिक्षा निदेशक डॉ. प्रकाश सिंह बराड़ ने कहा कि हमारे कुछ विभाग पशुधन पालन के लिए सेवाएं प्रदान कर रहे हैं, जबकि अन्य पशु उत्पादों के मूल्यवर्धन के क्षेत्र में हैं. ये पेशे उन्हें अच्छी आय अर्जित करने में मदद करते हैं. महिलाएं इन पेशों को अपनी घरेलू जिम्मेदारियों के साथ आसानी से कर सकती हैं. उन्होंने खुलासा किया कि इन व्यवसायों में सजावटी मछली पालन, एक्वेरियम बनाना, स्वादयुक्त दूध, लस्सी, पनीर, मांस का अचार, मीट पैटीज़, मीटबॉल और कई प्रकार की मछली के व्यंजन बनाना शामिल हैं. 

उन्होंने कहा कि युवा उद्यमी बकरी और सुअर पालन में अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. इस मेले में डेयरी विज्ञान और प्रौद्योगिकी महाविद्यालय, पशुधन उत्पाद और प्रौद्योगिकी विभाग ने दूध, मांस और अंडों के विभिन्न प्रकार के मूल्य वर्धित उत्पादों को प्रदर्शित किया गया. फिशरीज कॉलेज ने मछली के मांस के मूल्य वर्धित उत्पादों की एक समृद्ध संख्या भी प्रदर्शित की. इन स्टॉलों को काफी अच्छा रिस्पोंस मिला. वहीं किसान दूध और मांस उत्पादों के विकास के लिए प्रशिक्षित होने के लिए अत्यधिक उत्साहित थे.

स्टॉलों का जायजा लेते हुए अतिथि
स्टॉलों का जायजा लेते हुए अतिथि

डॉ. बराड़ ने कहा कि यह मेला अलग-अलग थीम पर आयोजित किया गया है.किसानों ने इस प्रयास की सराहना की क्योंकि किसी विशिष्ट विषय के बारे में पूछताछ करना बहुत सुविधाजनक था.उन्होंने खुलासा किया कि बड़ी संख्या में किसानों ने स्टॉलों का दौरा किया और पशुओं के परजीवी रोगों के नियंत्रण के लिए अपनाए जाने वाले उपायों में गहरी रुचि दिखाई. पशु पोषण विभाग ने राज्य के दुधारू पशुओं के लिए पोषण संबंधी कई तकनीकों का विकास किया है, जिन्हें मेले में प्रदर्शित किया गया. साथ ही गडवासू में तैयार अच्छी गुणवत्ता वाले खनिज मिश्रण और यूरोमिन चाट को किफायती दाम पर बेचा गया.

विशेषज्ञों ने पंजाब के दुधारू पशुओं की सामान्य रूप से प्रचलित बीमारियों जैसे मैस्टाइटिस, खनिज विकार, पैर की लंगड़ापन और अग्र-पेट के विकार को लेकर अपने व‍िचार रखें. मात्स्यिकी महाविद्यालय ने मछली की विभिन्न किस्मों जैसे कार्प मछली, कैटफ़िश और सजावटी मछलियों को प्रदर्शित किया. किसानों ने अपने ज्ञान को बढ़ाने के लिए डेयरी फार्मिंग, पैकेज ऑफ प्रैक्टिसेज, यूनिवर्सिटी डायरी, विभिन्न पशुधन विषयों की किताबें जैसे विश्वविद्यालय प्रकाशन खरीदे. मासिक पत्रिका के लिए किसानों ने अपना नाम दर्ज कराया.

गणमान्य व्यक्तियों द्वारा किया गया पुस्तकों का विमोचन
गणमान्य व्यक्तियों द्वारा किया गया पुस्तकों का विमोचन

पशु चिकित्सा पॉलिटेक्निक द्वारा 'प्रजनन प्रबंधन और अभ्यास', 'आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस', 'डेयरी फार्मिंग' पर पुस्तक, 'लेप्टोस्पायरोसिस' पर मोनोग्राफ, 'पंजाब के डेयरी क्षेत्र के जल विश्लेषण' पर फ़ोल्डर, विभिन्न पशु चिकित्सा संबंधी विषयों पर पत्रक और फ़ोल्डर कालझरानी और पशु चिकित्सा विज्ञान महाविद्यालय, रामपुरा फूल' का विमोचन भी गणमान्य व्यक्तियों द्वारा किया गया.

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